World Languages, asked by rajeshkrrgh217, 6 months ago

1. अहं गौरवान्वित: अस्मि।
(बहुवचने)

2. अहं निरन्तरम् चलामि।
(द्विवचने)
3. अहं देशभक्त: अस्मि।
(प्रथम-पुरुषे)
(लुट्लकारे)
4. अहं देशस्य अखण्डतां रक्षामि।
5. अहं सर्वदा स्वदेशं प्रगति-पथे पश्यामि
(लङ्लकारे)​

Answers

Answered by Srimi55
3

Answer:

इस मुल्क की रक्षा करनी है सौगंध हमें माँ गंगे की,

रखनी है शान तिरंगे की,

एकता भाव में जन जन हो,

ज्वाला बन राष्ट्र ये रोशन हो,

कुर्बान इसी पर जीवन हो,

अभिलाषा यही पतंगे की,

रखनी है शान तिरंगे की,

तोड़ो उसका हर एक ख्वाब,

टुकड़े पर पल बनता नबाब,

बतला दो दे दे कर जबाब,

औकात उस नीच लफंगे की,

रखनी है शान तिरंगे की,

उसका हर बहाव ठहरा देंगे,

हरकतों का दुख गहरा देंगे,

छाती पर चढ़ फहरा देंगे,

झंडा हम उस भिखमंगे की,

रखनी है शान तिरंगे की,

इस मुल्क की रक्षा करनी है सौगंध हमें माँ गंगे की,

रखनी है शान तिरंगे की,

- हमें विश्वास है कि हमारे पाठक स्वरचित रचनाएं ही इस कॉलम के तहत प्रकाशित होने के लिए भेजते हैं। हमारे इस सम्मानित पाठक का भी दावा है कि यह रचना स्वरचित है।

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