1. जीवन-पथ को संघर्ष से भरा क्यों कहा गया है? 2. कवि के मन में किस बात का डर है? 3. 'सफलता की कुंजी' किसके हाथ लगती है? 1. कैसा व्यक्ति अपने जीवन-पथ को हरा-भरा बनाता है?
Answers
1. जीवन-पथ को संघर्ष से भरा क्यों कहा गया है?
➲ जीवन पथ को कवि ने संघर्ष से भरा इसलिए कहा है क्योंकि जीवन में निरंतर कठिनाइयां रहती हैं। जीवन पथ पर चलते हुए अनेक विपत्तियों और संकट का सामना करना पड़ता है और उनसे जूझना पड़ता है। इसीलिए कवि ने जीवन को संघर्षों से भरा कहा है।
2. कवि के मन में किस बात का डर है?
➲ कवि के मन में इस बात का डर है कि यदि बिना संघर्ष के ही जीवन के संघर्षों से घबराकर कहीं हार ना मान जाएं। हम जीवन के संघर्ष का सामना करने से कहीं पीछे ना रह जाएं, इसलिए कवि को डर लगता है कि यदि मनुष्य का साहस टूट जाए और वो अपनी मंजिल को पाने के लिये सही रास्ता ना चुन पाए तो उसका क्या होगा।
3. 'सफलता की कुंजी' किसके हाथ लगती है?
➲ सफलता की कुंजी उनके हाथ लगती है जो जीवन की कठिनाइयों से घबराते नहीं और जीवन की हर विकट परिस्थिति का मुकाबला डटकर करते हैं। उन्हें पता होता है कि परिश्रम और संघर्षों से जूझ कर ही मंजिल को पाया जा सकता है। ऐसे व्यक्ति हर कदम सोच-समझकर उठाते हैं और अंततः उनके हाथ सफलता की कुंजी लगती है।
1. कैसा व्यक्ति अपने जीवन-पथ को हरा-भरा बनाता है?
➲ वह व्यक्ति अपने जीवन पथ को हरा भरा बनाता है, जो आने वाले जीवन में आने वाली सभी कठिनाइयों का सामना हंसकर करता है। जो व्यक्ति अपने लक्ष्य को प्राप्त करने में निरंतर लगा रहता है, वही अपने जीवन पथ को हरा भरा और खुशहाल बनाता है।
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