1.लेखक सेकंड क्लास के डिब्बे में यात्रा से
डब्ब में यात्रा क्यों कर रहा था ?
2.लेखक ने नवाब की असुविधा और संकोच लिया अनमान लगाया ?
3.lekhक को खीरे खाने से इन्कार करने पर अफसोस क्यों हो रहा था ।
5. लेखक के सामने नवाब साहब ने खीरा खाने का कौन-सा खानदानी रईसी तरीका अपनाया ?
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from class 10 kshitij book
leeson name - lakhnavi andaj
Answers
1)लेखक सेकंड क्लास के डिब्बे में यात्रा इस विचार से किया था कि सेकंड क्लास के डिब्बे निर्जन होने की संभावना अधिक है जिससे वे शांति से बैठकर वहां कविता लिख सके।
2) दरअसल वो नवाब दूसरे दर्ज के डिब्बे में अकेले बैठे खीरे खाने की तयारी कर रहे थे परन्तु लेखक के आने से उनके में में एकांत चिंतन का भाव स्पष्ट होने लगा और इस कारण एक सहयात्री के प्रति जो उत्सुकता चेहरे पर होनी चाहिए वो भी उनके चेहरे पर नहीं था।
3)क्युकी उसे खीरे खाने में रुचि थी परन्तु नवाब के उत्सुकता न होने के कारण उन्होंने माना कर दिया।
4)नवाब साहब ने लेखक के सामने अपने नवाबी चाल धिकाने के लिए उन्होंने खीरे को बहुत करीने से नामक मिला हुआ मिर्च और जीरा डाले और उसे सूंघकर खिड़की से फेक दिया।
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1. लेखक सेकंड क्लास के डिब्बे में यात्रा से डब्बा में यात्रा क्यों कर रहा था ?
उत्तर : लेखक सेकंड क्लास के डिब्बे में इसलिये यात्रा कर रहा था क्योंकि उसे यात्रा के दौरान एकांत चाहिए था। सेकंड क्लास का किराया अधिक होने के कारण वहां पर भीड़ कम होती थी। केवल प्रबुद्ध और अमीर वर्ग के लोग ही उस दर्जे में यात्रा करते थे। इसलिये लेखक ने सोचा कि वह आराम से खिड़की के पास बैठकर प्राकृतिक दृश्यों को देखते हुए यात्रा सम्पन्न करेगा। इस कारण लेखक ने सेकंड क्लास का टिकट खरीदा।
2. लेखक ने नवाब की असुविधा और संकोच लिया अनुमान लगाया ?
उत्तर : लेखक ने नवाब की असुविधा और संकोच का यह अनुमान लगाया कि नवाब साहब को कोई यह देख ना ले तो कोई इमेज सेकंड क्लास के डब्बे में यात्रा कर रहे हैं। यह उनकी रईसी के खिलाफ था, क्योंकि नवाब लोग फर्स्ट क्लास डिब्बे में ही यात्रा करते थे। नवाब साहब द्वारा खीरा साथ में लाने के बावजूद लेखक के सामने खीरा न खाया जाना नवाबी दिखावे का प्रतीक था।
3. लेखक को खीरे खाने से इन्कार करने पर अफसोस क्यों हो रहा था ?
उत्तर : लेखक को खीरा खाने से मना करने इनकार करने पर अफसोस इसलिए हो रहा था, क्योंकि नवाब साहब ने साधारण से खीरो को इस तरह से काटा था कि वह देखने में ही लेखक के मुंह में पानी ला रहा था, लेकिन नवाब साहब के व्यवहार के कारण लेखक को खीरा खाने से मना करना पड़ा क्योंकि लेता को अपना आत्म सम्मान बचाना चाहा। लेकिन लेखक का मन खीरा खाने का कर रहा था इसीलिए उसे इंकार करने पर अफसोस हो रहा था।
5. लेखक के सामने नवाब साहब ने खीरा खाने का कौन-सा खानदानी रईसी तरीका अपनाया ?
उत्तर : लेखक के सामने नवाब साहब ने खीरा को बेहद नजाकत से काटा। उसकी फांकों को करीने से कपड़े पर सजाया। इस तरह वो खीरा काटने और खाने का नवाबी तरीका दिखाना चाहते थे।
#SPJ3
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