Hindi, asked by archi744, 9 months ago

1. उपयुक्त उस खल को न यद्यपि मृत्यु का भी दंड है,
पर मृत्यु से बढ़कर न जग में दंड और प्रचंड है।
अतएव कल उस नीच को रण-मध्य जो मारूँ न मैं,
तो सत्य कहता हूँ कभी शस्त्रास्त्र फिर धारूँ न मैं
2. वह आता-
दो टूक कलेजे के करता पछताता
पथ पर आता
पेट पीठ दोनों मिलकर हैं एक,
चल रहा लकुटिया टेक donon mein kaun sa ras hai​

Answers

Answered by vanshikamishra2807
6

Answer:

1) रौद्र

2) करुण

Explanation:

Answered by jayathakur3939
2

उत्तर ( 1 ) रौद्र रस

      ( 2 ) करुण  रस

रस की परिभाषा

काव्य को पढ़कर मिलने वाली अंदरूनी खुशी को रस कहा जाता है। इसे इस प्रकार समझा जा सकता है कि यदि कोई कविता पढ़कर आप प्रेरित एवं उत्तेजित हो जाते हैं तब उस कविता में वीर रस का प्रयोग किया गया है।इसी प्रकार अन्य कई प्रकार के रस हैं जिन्हे मिलाकर काव्य का निर्माण किया जाता है। यह सभी रस काव्य को गढ़ने के लिहाज से अत्यधिक महत्वपूर्ण हैं। विश्व में मौजूद हर तरह के काव्य में किसी न किसी प्रकार का रस सम्मिलित है।  

किसी भी काव्य को पढ़कर उत्पन्न होने वाले अलग अलग भावों को रस का प्रकार कहा जाता है।

रस प्रायः 11 प्रकार के होते हैं।

1. शृंगार रस

2. हास्य रस

3. करूण रस

4. रौद्र रस

5. वीर रस

6. भयानक रस

7. बीभत्स रस

8. अद्भुत रस

9. शान्त रस

10. वत्सल रस

11. भक्ति रस

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