18. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिये। (5 x 1 = 5) अचरज नहीं
कि पहले उत्तर भारत में जो चीजें गली-मुहल्लों की दुकानों में आम हुआ करती थीं, उन्हें अब खास
दुकानों में तलाशा जाता हैं। यह भी एक कड़वा सच हैं कि कई स्थानीय व्यंजनों को हमने तथाकथित
आधुनिकता के चलते छोड़ दिया है और पश्चिम की नकल में बहुत सी चीजें ऐसी अपना ली है, जो
स्वाद, स्वास्थ्य और सरसता के मामले में हमारे बहुत अनुकूल नहीं हैं। (क ) गद्यांश के पाठ और
लेखक का नाम लिखिए। (ख) लेखक ने किस बात पर आश्चर्य व्यक्त किया है ? (ग) स्थानीय
व्यंजन कई कारणों से छोड़े जा रहे हैं, परंतु उनमें सबसे दुखद क्या है? (घ) खानपान में पश्चिम की
नकल सही है ? (ड) सरसता' और 'अनुकूल' का विलोम लिखिए ।
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क) पाठ खान पान की बदलती तस्वीर
लेखक प्रयाग शुकल
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