History, asked by akshayapamul, 8 months ago

1947 te 1964 chya dashakaparyant che pradhanmantri tyancha kalavdhi tyanchya kalat ghadlelyaahatvachya ghatna lihine​

Answers

Answered by Anonymous
1

आजादी के लंबे और रोमांचकारी क्रांतिकारी आंदोलन के परिणामस्वरूप देश 15 अगस्त 1947 को पराधीनता की बेड़ियों को काटकर स्वाधीन हुआ था।

लॉर्ड माउंटबेटन ने जापान की सेनाओं के ब्रिटिश सेनाओं के सामने 15 अगस्त 1945 को (हिरोशिमा और नागासाकी की प्राणघाती बमवर्षा के पश्चात) आत्मसमर्पण की स्मृति में इस घटना की दूसरी वर्षगांठ 15 अगस्त 1947 को भारत को स्वतंत्र करने की घोषणा जुलाई मध्य में की थी।

यह घोषणा तुरत-फुरत में की गई थी जिसके कई गंभीर परिणाम हमें भुगतने पड़े, परंतु यहां उनका उल्लेख आवश्यक नहीं है। जैसे ही देश के स्वतंत्र होने की घोषणा कर उसकी तिथि नियत की गई, वैसे ही पहले प्रधानमंत्री की खोज आरंभ हो गई। महात्मा गांधी की इच्छा पर सरदार वल्लभभाई पटेल ने अपनी प्रधानमंत्री पद की मजबूत दावेदारी वापस ली और पंडित नेहरू को देश का प्रधानमंत्री स्वीकार कर लिया। यह सरदार पटेल का त्याग था।

देश के लोकतंत्र की पहली ईंट इस प्रकार सरदार पटेल के उस अनुपम और अद्वितीय त्याग पर रखी गई। यहां हम 15 अगस्त 1947 से अब तक कुल 13 प्रधानमंत्रियों के विषय में बताने का प्रयास कर रहे हैं कि अब तक के सारे प्रधानमंत्री भारत को कैसे मिले और उनका शासनकाल कब से कब तक का रहा?

FILE

पंडित जवाहरलाल नेहरू

गांधीवादी तथा स्वतंत्रता सेनानियों में अग्रणी और गांधीजी के विद्वान शिष्य पंडित जवाहरलाल नेहरू पंडित मोतीलाल नेहरू के इकलौते बेटे थे। 15 अगस्त 1947 से लेकर 27 मई 1964 तक लगभग 17 साल इन्होंने देश पर शासन किया।

इससे पूर्व सितंबर 1946 में गठित हुई अंतरिम सरकार का नेतृत्व भी नेहरूजी ने ही किया था। इनकी पत्नी का नाम कमला नेहरू था जिनसे इन्हें इंदिरा प्रियदर्शिनी नामक पुत्री प्राप्त हुई।

स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान नेहरूजी कई बार जेल गए। नेहरूजी अच्छे लेखक भी थे। भारत एक खोज, विश्व इतिहास की झलक, एन ऑटोबायोग्राफी : इंडिपेंडेंस एंड आफ्टर, सोवियत रूस जैसी इनकी कई पुस्तकें विश्वविख्यात रहीं।

Similar questions