Hindi, asked by sandeepsharms08, 2 months ago

3. वर्तमान हिन्दी पत्रकारिता की दशा और दिशा पर अपने विचार प्रस्तुत कीजिए।
खण्डु-ब (Secticn-B)​

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Answered by shishir303
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¿ वर्तमान हिन्दी पत्रकारिता की दशा और दिशा पर अपने विचार प्रस्तुत कीजिए।

✎... वर्तमान समय में हिंदी पत्रकारिता की दशा और दिशा दोनों खराब हो चुकी हैं। हिंदी पत्रकारिता ही नहीं हर भाषा और क्षेत्र की पत्रकारिता सच्चाई से दूर होती जा रही है। एक पत्रकार का परम प्रथम कर्तव्य निष्पक्षता, ईमानदारी और बिना किसी भय के पत्रकार करना है, लेकिन वैश्वीकरण के दौर में और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के वर्चस्व के कारण पत्रकारिता बाजार केंद्रित होती जा रही है। अब अखबारों से अधिक टीवी चैनल महत्वपूर्ण हो गये हैं, जिन्हें अपने महंगे ताम-झाम को बनाये रखने के लिये धन चाहिए और इसके लिये उन्हे बाजारवाद के आगे नतमस्तक होना पड़ता है। इसी कारण पत्रकारिता में वो ईमारदारी और निष्पक्षता नही रही।

वर्तमान समय में अधिकतर समाचार संस्थान या पत्रकार दो गुटों में बंट गये हैं। एक गुट सरकार या राजनीतिक ताकत के आगे पूरी तरह नतमस्तक हो चुके हैं, वहीं दूसरी तरह का गुट पूरी तरह से सरकार विरोधी हो चुका है। आँख मूंदकर सरकार की तारीफ करना या आँख मूंदकर सरकार की बुराई करना अब इन दोनों गुटों की कार्यशैल बनती जा रही है।

निष्पक्ष होकर समाचार को विश्लेषणात्मक रूप में प्रस्तुत करने वाली पत्रकारिता का अब अभाव हो गया है। वर्तमान समय में समाचार संस्थानों का संचालन बड़े-बड़े औद्योगिक घरानों के हाथों में है, और संपादक तथा पत्रकारों की भूमिका गौण होती जा रही है। इसलिये आज के समय पत्रकारिता की स्थिति दयनीय और शोचनीय होती जा रही है।

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