Hindi, asked by vardhmangupta2609, 1 year ago

4 line poem on anushashan in hindi

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Answered by Karunakaruna
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Answer:

अनुशासन में बंधे हुए हैं,

ग्रह-उपग्रह और सब तारे,

अनुशासन की सीमा में हैं,

बंधे हुए जड़-चेतन सारे.

 

अगर समय से सूर्य न निकले,

दूर न होगा अंधियारा,

कैसे जीवन मिले जगत को,

कैसे हो फिर उजियारा!

 

अगर समय पर चांद न निकले,

शीतलता न मिलेगी,

चारु चंद्र की चंचल किरणें,

फिर कैसे सुख देंगी?

 

एक नियम से घूम रही है,

धरती प्यारी-प्यारी,

तभी टिके हम एक जगह पर,

टलती उलझन भारी.

 

वृक्षों से फल नीचे गिरते,

कभी न ऊपर जाते,

विद्या पाकर गुणी पुरुष हैं,

और नम्र हो जाते.

 

यह है अनुशासन की महिमा,

भुला इसे मत देना,

इससे शिक्षा लेकर अपना,

जन्म सफल कर लेना

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