4 पर्यावरण संरक्षण और समय एक अमूल्य धन है पर एक एक कविता अपने शब्दों में लिखो।
dono poem please help me
Answers
पर्यावरण संरक्षण
प्रकृति ने अच्छा दृश्य रचा
इसका उपभोग करें मानव।
प्रकृति के नियमों का उल्लंघन करके
हम क्यों बन रहे हैं दानव।
ऊँचे वृक्ष घने जंगल ये
सब हैं प्रकृति के वरदान।
इसे नष्ट करने के लिए
तत्पर खड़ा है क्यों इंसान।
इस धरती ने सोना उगला
उगलें हैं हीरों के खान
इसे नष्ट करने के लिए
तत्पर खड़ा है क्यों इंसान।
धरती हमारी माता है
हमें कहते हैं वेद पुराण
इसे नष्ट करने के लिए
तत्पर खड़ा है क्यों इंसान।
हमने अपने कूकर्मों से
हरियाली को कर डाला शमशान
इसे नष्ट करने के लिए
तत्पर खड़ा है क्यों इंसान।
समय एक अमूल्य धन है
समय बड़ा बलवान है भाई,
समय बड़ा बलवान,
इसके आगे टिक नहीं पातें बड़े बड़े विद्वान,
समय के मर्म की जिसने जाना,
समझो जीवन गति पहचाना,
जीवन मैं कुछ पाना है तो,
समय के साथ कदम मिलाना,
समय का पहिया घूमता जाता,
टिक टिक कर के हमें जगाता,
यान हो विमान हो या कोई पैगाम हो,
समय सुनिश्चित होता है तो,
मंज़िल पे हमको पहुंचाता।
सही समय पर काम करो,
उन्नत जीवन का नाम करों,
समय की जिनको है पहचान,
बनते वे व्यक्ति महान,
जीवन उनका सुखमय होता,
पाते सदा मान सम्मान!
पर्यावरण संरक्षण प्रकृति ने अच्छा दृश्य रचा
ऊँचे वृक्ष घने जंगल ये
सब है प्रकृति के वरदान
धरती हमारी माता है
इसे नष्ट करने के लिए
तत्पर खड़ा है क्यों इंसान हमने अपने कुकर्मों से
इसका उपभोग करें मानव प्रकृति के नियमों का उल्लंघन करके हम क्यों बन रहे हैं दानव इसे नष्ट करने के लिए तत्पर खड़ा है क्यों इंसान इस धरती ने सोना उगला उगले हैं हीरों के खान इसे नष्ट करने के लिए तत्पर खड़ा है क्यों इंसान हमें कहते हैं वेद पुराण हरियाली को कर डाला शमशान इसके आगे टिक नहीं पाते बड़े बड़े विद्वान, समय के मर्म की जिसने जाना, समय सुनिश्चित होता है तो, सही समय पर काम करो, उन्नत जीवन का नाम करों,
इसे नष्ट करने के लिए.
तत्पर खड़ा है क्यों इंसान
समय एक अमूल्य धन है
समय बड़ा बलवान है भाई,
समय बड़ा बलवान,
समझो जीवन गति पहचाना,
जीवन में कुछ पाना है तो, समय के साथ कदम मिलाना,
समय का पहिया घूमता जाता, टिक टिक कर के हमें जगाता.
यान हो विमान हो या कोई पैगाम हो,
मंज़िल पे हमको पहुंचाता
समय की जिनको है पहचान, बनते वे व्यक्ति महान,
जीवन उनका सुखमय होता. पाते सदा मान सम्माना