आइए विचार करें
7. इंग्लैंड के ऊन और रेशम उत्पादकों ने अठारहवीं सदी की शुरुआत में भारत से आयात होने वाले कपड़े का विरोध क्यों किया था?
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Answer with Explanation:
इंग्लैंड के ऊन और रेशम उत्पादकों ने अठारहवीं सदी की शुरुआत में भारत से आयात होने वाले कपड़े का विरोध इसलिए किया था क्योंकि वे लोग भारतीय वस्त्रों की लोकप्रियता को देखकर बेचैन थे। उस वक्त इंग्लैंड में नए नए कपड़े के कारखाने खुल रहे थे इसलिए वे चाहते थे कि पूरी इंग्लैंड में उन्हीं के कारखानों में बना कपड़ा ही बिके । 18 वीं सदी की शुरुआत तक इंग्लैंड में भारतीय कपड़ों की बहुत अधिक मांग बढ़ चुकी थी। इंग्लैंड के के ज्यादा से ज्यादा लोग यहां तक कि स्वयं महारानी, भारतीय कपड़े से बने वस्त्र ही पहनती थी।
आशा है कि यह उत्तर आपकी अवश्य मदद करेगा।।।
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6. विभिन्न कपड़ों के नामों से उनके इतिहासों के बारे में क्या पता चलता है?
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5. रिक्त स्थान भरें :
(क) अंग्रेजी का शिंट्ज़ शब्द हिंदी के ...... शब्द से निकला है। (ख) टीपू की तलवार ……. स्टील से बनी थी। (ग) भारत का कपड़ा निर्यात ... सदी में गिरने लगा।
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Answer:
england ke logo nei bharat ke bani chijho ka bahut upyogh kiya the