आप कैसे कह सकते है कि प्रेमचंद सहज जीवन पर विश्वास करते है?
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Answer:
उन्होंने अपनी रचनाओं में आदर्श, व्यक्तित्व की दृढ़ता, देश के प्रति प्रेम, स्वाभिमान को विशेष स्थान दिया है। इससे यह अनुमान लगाया जा सकता है कि उनका स्वयं का व्यक्तित्व कैसा रहा होगा? वे आदर्शों को जीवन में विशेष महत्व देते थे। वे स्वयं भी आदर्श जीवन जीते रहे।
Explanation:
' प्रेमचंद के फटे जूते ' हरिशंकर परसाई का एक महत्वपूर्ण निबंध है , जिसमें उन्होंने प्रेमचंद के माध्यम से समाज पर व्यंग्य किया है ।
इस निबंध का मूल तत्व है कि इतने महान लेखक होने के बावजूद प्रेमचंद एक सहज और सरल जीवन जीने में विश्वास रखते थे । परसाई इसमें एक चित्र का जिक्र करते हैं जिसमें प्रेमचंद के जूते फटे हुए हैं , और उंगली दिखाई दे रही है । इस पर उन्होंने अनेक तर्क दिए हैं जैसे कि आदमी फोटो खिंचाने के लिए बीवी भी उधार में ले लेते हैं , और आपने जूते भी उधर नहीं लिए ।
अनेक तर्कों को उत्तर देकर वे ये मानते हैं कि प्रेमचंद जैसे फोटो में , वैसे ही वे अपनी जिंदगी में भी हैं । उनके जीवन में आडंबरों का कोई स्थान नहीं है । और अंत में वे सिद्ध करते हैं कि प्रेमचंद सहज जीवन जीने में विश्वास रखते हैं , जो उनकी रचनाओं से भी प्रतीत होता है ।
आशा है कि आप समझ गए होंगे।
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