Sociology, asked by goluyadav7737gy39101, 6 months ago

आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों के लिए आरक्षण सरकार को तुष्टिकरण के लिए एक लोकप्रिय पर विधान है समीक्षा कीजिए

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देश में आर्थिक तौर पर कमजोर लोगों को शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में 10 फीसदी आरक्षण सुनिश्चित करने वाला 124वां संविधान संशोधन विधेयक मंगलवार को लोकसभा में पारित हो गया. विधेयक पर हुए मतदान के दौरान पक्ष में 323 वोट पड़े, वहीं विपक्ष में 3 वोट पड़े.

देश में आर्थिक तौर पर कमजोर लोगों को शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में 10 फीसदी आरक्षण सुनिश्चित करने वाला 124वां संविधान संशोधन विधेयक मंगलवार को लोकसभा में पारित हो गया. विधेयक पर हुए मतदान के दौरान पक्ष में 323 वोट पड़े, वहीं विपक्ष में 3 वोट पड़े.विधेयक को लेकर मंगलवार को करीब 5 घंटे तक चली बहस में लगभग सभी दलों ने इसका पक्ष लिया, किसी ने भी इसका खुलकर विरोध नहीं किया. सरकार की ओर से केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री थावरचंद गहलोत ने इसे सदन में पेश किया. उन्होंने कहा कि गरीबों के लिए ये आरक्षण पहले के आरक्षण को बिना छेड़े दिया जा रहा है और इसमें हर धर्म के लोग शामिल होंगे.

देश में आर्थिक तौर पर कमजोर लोगों को शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में 10 फीसदी आरक्षण सुनिश्चित करने वाला 124वां संविधान संशोधन विधेयक मंगलवार को लोकसभा में पारित हो गया. विधेयक पर हुए मतदान के दौरान पक्ष में 323 वोट पड़े, वहीं विपक्ष में 3 वोट पड़े.विधेयक को लेकर मंगलवार को करीब 5 घंटे तक चली बहस में लगभग सभी दलों ने इसका पक्ष लिया, किसी ने भी इसका खुलकर विरोध नहीं किया. सरकार की ओर से केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री थावरचंद गहलोत ने इसे सदन में पेश किया. उन्होंने कहा कि गरीबों के लिए ये आरक्षण पहले के आरक्षण को बिना छेड़े दिया जा रहा है और इसमें हर धर्म के लोग शामिल होंगे.लोकसभा के बाद अब इस विधेयक को राज्यसभा से पारित कराना होगा और उसके बाद राष्ट्रपति की मंजूरी लेनी होगी, जिसके बाद ये कानून बन जाएगा.

देश में आर्थिक तौर पर कमजोर लोगों को शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में 10 फीसदी आरक्षण सुनिश्चित करने वाला 124वां संविधान संशोधन विधेयक मंगलवार को लोकसभा में पारित हो गया. विधेयक पर हुए मतदान के दौरान पक्ष में 323 वोट पड़े, वहीं विपक्ष में 3 वोट पड़े.विधेयक को लेकर मंगलवार को करीब 5 घंटे तक चली बहस में लगभग सभी दलों ने इसका पक्ष लिया, किसी ने भी इसका खुलकर विरोध नहीं किया. सरकार की ओर से केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री थावरचंद गहलोत ने इसे सदन में पेश किया. उन्होंने कहा कि गरीबों के लिए ये आरक्षण पहले के आरक्षण को बिना छेड़े दिया जा रहा है और इसमें हर धर्म के लोग शामिल होंगे.लोकसभा के बाद अब इस विधेयक को राज्यसभा से पारित कराना होगा और उसके बाद राष्ट्रपति की मंजूरी लेनी होगी, जिसके बाद ये कानून बन जाएगा.प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आर्थिक तौर पर कमजोर लोगों को शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में 10 फीसदी आरक्षण के विधेयक के लोकसभा में पास होने को ऐतिहासिक क्षण करार दिया है. उन्होंने ट्वीट किया, ‘लोकसभा में 124वां संविधान संशोधन बिल, 2019 का पारित होना देश के इतिहास में एक ऐतिहासिक क्षण है. यह एक प्रभावी उपाय को प्राप्त करने की प्रक्रिया को गति देता है, जो समाज के सभी वर्गों के लिए न्याय सुनिश्चित करता है. सभी पार्टियों के सांसदों को लोकसभा में 124 वां संविधान संशोधन बिल, 2019 के पारित होने पर धन्यवाद. मैं उन सांसद सहयोगियों की भी सराहना करता हूं, जिन्होंने अपने विचारों से बहस को समृद्ध किया. हम सबका साथ, सबका विकास के सिद्धांत के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं. हमारा प्रयास है कि यह सुनिश्चित हो कि हर गरीब व्यक्ति, चाहे वह किसी भी जाति या पंथ का हो, गरिमा का जीवन जीता है और सभी संभावित अवसरों तक पहुंच प्राप्त करता है.’

संविधान संशोधन बिल, 2019 के पारित होने पर धन्यवाद. मैं उन सांसद सहयोगियों की भी सराहना करता हूं, जिन्होंने अपने विचारों से बहस को समृद्ध किया. हम सबका साथ, सबका विकास के सिद्धांत के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं. हमारा प्रयास है कि यह सुनिश्चित हो कि हर गरीब व्यक्ति, चाहे वह किसी भी जाति या पंथ का हो, गरिमा का जीवन जीता है और सभी संभावित अवसरों तक पहुंच प्राप्त करता है.’संसदीय कार्य मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने विधेयक पास होने पर खुशी जाहिर करते हुए इसके लिए प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त किया. उन्होंने ट्वीट किया, ‘सामान्‍य श्रेणी के आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों को नौकरियों और शिक्षण संस्‍थानों में 10 प्रतिशत आरक्षण संबधी विधेयक लोकसभा में पारित. प्रधानमंत्री का आभार एवं समस्त देशवासियों को बहुत-बहुत बधाई.

संविधान संशोधन बिल, 2019 के पारित होने पर धन्यवाद. मैं उन सांसद सहयोगियों की भी सराहना करता हूं, जिन्होंने अपने विचारों से बहस को समृद्ध किया. हम सबका साथ, सबका विकास के सिद्धांत के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं. हमारा प्रयास है कि यह सुनिश्चित हो कि हर गरीब व्यक्ति, चाहे वह किसी भी जाति या पंथ का हो, गरिमा का जीवन जीता है और सभी संभावित अवसरों तक पहुंच प्राप्त करता है.’संसदीय कार्य मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने विधेयक पास होने पर खुशी जाहिर करते हुए इसके लिए प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त किया. उन्होंने ट्वीट किया, ‘सामान्‍य श्रेणी के आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों को नौकरियों और शिक्षण संस्‍थानों में 10 प्रतिशत आरक्षण संबधी विधेयक लोकसभा में पारित. प्रधानमंत्री का आभार एवं समस्त देशवासियों को बहुत-बहुत बधाई.केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने इसे ऐतिहासिक कदम बताया. उन्होंने ट्वीट किया, 'गरीब सवर्णों को आरक्षण देने वाला ऐतिहासिक संविधान संशोधन बिल लोकसभा ने पारित कर दिया है. गरीबों के सशक्तिकरण के लिए लिए गए इस ऐतिहासिक कदम के लिए प्रधानमंत्री को बहुत बहुत धन्यवाद और बधाई.

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