आत्मविश्वास को किस प्रकार मनुष्य का मौलिक गुण कहा जा सकता है? आत्मविश्वास से व्यक्ति सफलता प्राप्त कर सकता है | इस विषय पर २५० शब्दों में प्रस्ताव लिखिए
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Explanation:
जीवन में सफलता के लिए आत्मविश्वास उतना ही आवश्यक है, जितना मनुष्य के लिए ऑक्सीजन और पानी। बिना आत्मविश्वास के व्यक्ति सफलता की ऊंचाइयों पर कदम बढ़ा ही नहीं सकता। आत्मविश्वास वह ऊर्जा है, जो सफलता की राह में आने वाली हर अड़चनों, कठिनाइयों और परेशानियों से मुकाबला करने के लिए व्यक्ति को बल देती है।
आत्मविश्वास मनुष्य के अंदर ही समाहित होता है। बस जरूरत है अपने अंदर की आंतरिक शक्तियों को इकट्ठा कर अपने आत्मविश्वास को मजबूत करने की। जीवन में सफलता के लिए आत्मविश्वास उतना ही आवश्यक है, जितना मनुष्य के लिए ऑक्सीजन और पानी। बिना आत्मविश्वास के व्यक्ति सफलता की ऊंचाइयों पर कदम बढ़ा ही नहीं सकता। आत्मविश्वास वह ऊर्जा है, जो सफलता की राह में आने वाली हर अड़चनों, कठिनाइयों और परेशानियों से मुकाबला करने के लिए व्यक्ति को बल देती है। एक अच्छे चरित्र का निर्माण हजारों ठोकरें खाने के बाद ही होता है। इसका अर्थ है कि मनुष्य को अपनी असफलता से प्रेरणा लेकर सफलता की तरफ अग्रसर रहना चाहिए। हर किसी के जीवन में उतार-चढ़ाव, सफलता, असफलता आती रहती है, परंतु हमे विषम परिस्थितियों में कभी भी अपने लक्ष्य को नहीं छोड़ना चाहिए। असफलता ही सफलता का मार्ग प्रशस्त करती है। आत्मविश्वास मनुष्य का जीवन का आधार है। आत्मविश्वास के साथ-साथ हमे हमेशा अच्छे रास्तों पर अग्रसर रहना चाहिए। हमारे जीवन में क्या उचित है, क्या अनुचित है। इसकी समझ हमेशा रहनी चाहिए। जिस तरह से एक कागज के नोट का मूल्य नया व पुराना दोनों परिस्थितियों में एक समान होता है। ठीक इसी प्रकार हमे असफल होने पर भी अपने मूल्य को कम नहीं समझना चाहिए। हम अद्वितीय है। हम सभी कार्य करने में सक्षम हैं। हमे किसी भी परिस्थिति में हार नहीं माननी है। सफलता की महत्वपूर्ण कुंजी आत्मविश्वास का होना है और आत्मविश्वास की एक महत्वपूर्ण कुंजी बेहत तैयारी का होना है।
Answer:
आत्मविश्वास मनुष्य के अंदर ही समाहित होता है। बस जरूरत है अपने अंदर की आंतरिक शक्तियों को इकट्ठा कर अपने आत्मविश्वास को मजबूत करने की। जीवन में सफलता के लिए आत्मविश्वास उतना ही आवश्यक है, जितना मनुष्य के लिए ऑक्सीजन और पानी। बिना आत्मविश्वास के व्यक्ति सफलता की ऊंचाइयों पर कदम बढ़ा ही नहीं सकता। आत्मविश्वास वह ऊर्जा है, जो सफलता की राह में आने वाली हर अड़चनों, कठिनाइयों और परेशानियों से मुकाबला करने के लिए व्यक्ति को बल देती है। एक अच्छे चरित्र का निर्माण हजारों ठोकरें खाने के बाद ही होता है। इसका अर्थ है कि मनुष्य को अपनी असफलता से प्रेरणा लेकर सफलता की तरफ अग्रसर रहना चाहिए। हर किसी के जीवन में उतार-चढ़ाव, सफलता, असफलता आती रहती है, परंतु हमे विषम परिस्थितियों में कभी भी अपने लक्ष्य को नहीं छोड़ना चाहिए। असफलता ही सफलता का मार्ग प्रशस्त करती है। आत्मविश्वास मनुष्य का जीवन का आधार है। आत्मविश्वास के साथ-साथ हमे हमेशा अच्छे रास्तों पर अग्रसर रहना चाहिए। हमारे जीवन में क्या उचित है, क्या अनुचित है। इसकी समझ हमेशा रहनी चाहिए। जिस तरह से एक कागज के नोट का मूल्य नया व पुराना दोनों परिस्थितियों में एक समान होता है। ठीक इसी प्रकार हमे असफल होने पर भी अपने मूल्य को कम नहीं समझना चाहिए। हम अद्वितीय है। हम सभी कार्य करने में सक्षम हैं। हमे किसी भी परिस्थिति में हार नहीं माननी है। सफलता की महत्वपूर्ण कुंजी आत्मविश्वास का होना है और आत्मविश्वास की एक महत्वपूर्ण कुंजी बेहत तैयारी का होना है।