Hindi, asked by mayankrathoreraipur, 12 hours ago

। आदर्श निबंध की कोई तीन विशेषताएँ लिखिए।​

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Answered by anuradhaaa223
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निबंध गद्य रचना को कहते हैं जिसमें किसी विषय का वर्णन किया गया हो. निबंध के माध्यम से लेखक उस विषय के बारे में अपने विचारों और भावों को बड़े प्रभावशाली ढंग से व्यक्त करने की कोशिश करता है. एक श्रेष्ठ संगठित एवं सुव्यवस्थित निबंध लेखक को विषय का अच्छा ज्ञान होना चाहिए, उसकी भाषा पर अच्छी पकड़ होना चाहिए. प्रत्येक व्यक्ति की अपनी अभिव्यक्ति होती है. इसलिए एक ही विषय पर हमें अलग-अलग तरीकों से लिखे गए निबंध मिलते हैं.

किसी एक विषय पर विचारों को क्रमबद्ध कर सुंदर, सुगठित और सुबोध भाषा में लिखी रचना को निबंध कहते हैं.

अनेक विद्वानों द्वारा निबंध शब्द की प्रथक प्रथक व्याख्या की है-

निबंध अनियमित, असीमित और असम्बद्ध रचना है.

निबंध वह लेख है जिसमें किसी गहन विषय पर विस्तृत और पांडित्यपूर्ण विचार किया जाता है.

मन की उन्मुक्त उड़ान निबंध कहलाती है.

मानसिक विश्व का बुद्धि विलास से निबंध है.

सीमित समय और सीमित शब्दों में क्रम बद्ध विचारों की अभिव्यक्ति ही निबंध है.

अच्छे निबंध की विशेषताएं (Characteristics of Essay in Hindi)

एक अच्छे निबंध की प्रमुख विशेषताएं निम्नलिखित हैं.

निबंध की भाषा विषय के अनुरूप होनी चाहिए.

विचारों में परस्पर तारतम्यता होनी चाहिए.

विषय से सम्बंधित सभी पहलुओं पर निबंध में चर्चा की जानी चाहिए.

निबंध के अंतिम अनुच्छेद में ऊपर कहीं गई सभी बातों का सारांश होना चाहिए.

वर्तनी शुद्ध होनी चाहिए तथा उसमें विराम चिन्हों का उचित प्रयोग किया जाना चाहिए.

निबंध लिखते समय शब्दों की सीमा का अवश्य ध्यान रखना चाहिए.

निबंध के लेखक का व्यक्तित्व प्रतिफल होना आवश्यक है.

निबंध अधिक विस्तृत न होकर संक्षेप में होना चाहिए.

निबंध लेखन विचारों की एक अखंड धारा होती है उसका एक निश्चित परिणाम होना चाहिए.

निबंध के अंग (Types of Essay)

मुख्य रूप से निबंध के तीन अंग होते हैं- भूमिका, विस्तार और उपसंहार.

भूमिका

भूमिका विषय प्रवेश है. इसमें विषय का परिचय दिया जाता है. यहीं से निबंध प्रारंभ होता है. यह जितना आकर्षक होगा, लोगों को निबंध पढ़ने में उतना ही अधिक आनंद आएगा. भूमिका छोटी और सारगर्भित होनी चाहिए. भूमिका ऐसी हो जिसे पढ़कर पाठक पुरे निबंध को पढ़ने के लिए प्रेरित हो सके.

विस्तार

यह निबंध का मुख्य अंग है. इसमें विषय का वर्णन विवेचन होता है. जो सामग्री आपके पास है उसे क्रमबद्ध कर लीजिए तथा अलग-अलग अनुच्छेदों में प्रस्तुत कीजिए. इसके विवेचन में पूर्वापर क्रम होना चाहिए. प्रत्येक दूसरा अनुच्छेद पहले अनुच्छेद से सम्बद्ध होना चाहिए.

उपसंहार

उपसंहार निबंध का अंतिम अंग है. यहां तक आते-आते विषय की चर्चा समाप्त हो जाती है. यहां तो निबंध में कही गई सही बातों को सारांश रूप में प्रस्तुत किया जाता है.

निबंध के भेद

विषय के प्रतिपादन की दृष्टि से निबंध के चार प्रकार माने गए हैं.

वर्णनात्मक निबंध

इस प्रकार के निबंधों में स्थानों, वस्तुओं, ऋतुओं, दृश्यों, त्योहारों आदि का वर्णन किया जाता है. जैसे होली, दीपावली, दशहरा आदि

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