अभ्यास
(क) दिए गए प्रश्नों के उत्तर लिखिए।
1, वाच्य किसे कहते हैं?
2. वाच्य कितने प्रकार के होते हैं? प्रत्येक के दीदा
3, कर्मवाच्य किसे कहते हैं ? उदाहरण देकर लिखिए
4. भाववाच्य किसे कहते हैं ? उदाहरण देकर लिखा
ख) दिए गए वाक्यों की कर्मवाच्य में बलिए।
1. शीला पुस्तक पढ़ती है।
2. बिल्ली पेड़ पर चढ़ती है।
3, बच्चा सोता है।
4. बच्चे कक्षा में बैठे हैं।
5. मोना खेलने गई।
दिए गए वाक्यों में क्रियाओं के वाच्य लिखिए।
1. मुझसे अब चला नहीं जाता।
2, लक्ष्य पत्र नहीं लिखता है।
3. खरगोश दौड़ता है।
चित्र मेरे द्वारा बनाया गया।
5. शीला से बोला नहीं गया।
Answers
Answer:
क्रिया के जिस रूप से यह ज्ञात हो कि वाक्य में क्रिया द्वारा संपादित विधान का विषय कर्ता है, कर्म है, अथवा भाव है, उसे वाच्य कहते हैं।
क्रिया के उस परिवर्तन को वाच्य कहते हैं, जिसके द्वारा इस बात का बोध होता है कि वाक्य के अन्तर्गत कर्ता, कर्म या भाव में से किसकी प्रधानता है।
इनमें किसी के अनुसार क्रिया के पुरुष, वचन आदि आए हैं।
वाच्य के तीन प्रकार हैं-
1. कर्तृवाच्य।
जिस वाक्य में वाच्य बिन्दु 'कर्ता' है उसे कर्तृवाच्य कहते है।
2. कर्मवाच्य
3. भाववाच्य
(2) कर्मवाच्य - क्रिया के उस रूपान्तर को कर्मवाच्य कहते हैं, जिससे वाक्य में कर्म की प्रधानता का बोध हो।
जैसे- पुस्तक पढ़ी जाती है; आम खाया जाता है।
यहाँ क्रियाएँ कर्ता के अनुसार रूपान्तररित न होकर कर्म के अनुसार परिवर्तित हुई हैं। यहाँ ध्यान देने योग्य बात यह है कि अँगरेजी की तरह हिन्दी में कर्ता के रहते हुए कर्मवाच्य का प्रयोग नहीं होता; जैसे- 'मैं दूध पीता हूँ' के स्थान पर 'मुझसे दूध पीया जाता है' लिखना गलत होगा। हाँ, निषेध के अर्थ में यह लिखा जा सकता है- मुझसे पत्र लिखा नहीं जाता; उससे पढ़ा नहीं जाता