अलनीनो प्रभाव सामान्यतया साल के किस समय में उत्पन्न होता है?
Answers
Answer:
एल-नीनो अक्सर दस साल में दो बार आती है और कभी-कभी तीन बार भी। एल-नीनो हवाओं के दिशा बदलने, कमजोर पड़ने तथा समुद्र के सतही जल के ताप में बढोत्तरी की विशेष भूमिका निभाती है। एल-नीनो का एक प्रभाव यह होता है कि वर्षा के प्रमुख क्षेत्र बदल जाते हैं। परिणामस्वरूप विश्व के ज्यादा वर्षा वाले क्षेत्रों में कम वर्षा और कम वर्षा वाले क्षेत्रों में ज्यादा वर्षा होने लगती है। कभी-कभी इसके विपरीत भी होता है । यह घटना दक्षिण अमेरिका में तो भारी वर्षा करवाती है लेकिन ऑस्ट्रेलिया और इन्डोनेशिया में सूखे की स्थिति को उत्पन्न कर देती है यह पेरु की ठंडी जलधारा को विस्थापित करके गरम जलधारा को विकसित करती है ।
वे मौसमी कारक, जो मानसून की चाल पर असर डालते हैं, कुछ कम विलेन नहीं माने जाते हैं। इन्हीं में से एक है अल-नीनो (एल निन्यो)। मानसून की एक कमान अल-नीनो के हाथ रहती है।
प्रशान्त महासागर में पेरू देश के निकटवर्ती गहरे समुद्र में घटने वाली एक हलचल यानी अल-नीनो ही किसी किसी मानसून का भविष्य तय करती है।
अक्सर कहा जाता है कि अल-नीनो या फिर प्रशान्त महासागर में समुद्र की सतह का तापमान बढ़ने से पूरे एशिया और पूर्वी अफ्रीका के मौसमी स्थितियों में परिवर्तन हो जाता है। कभी इस वजह से दक्षिण अमेरिका में भारी बारिश के साथ बाढ़ की सम्भावना बनती है और भारत के पश्चिमी तट और मध्य भागों में अच्छी बारिश होती है, तो कभी यह समीकरण उलट जाता है।