अनुकूलन क्या है? इसके विभिन्न स्वरूपों और दशाओं की चर्चा 300 शब्द मे कीजिए।
Answers
Answered by
0
Answer:
अनुकूलन किसी विशेष वातावरण में सुगमता पूर्वक जीवन व्यतीत करने एवं वंशवृद्धि के लिए जीवों के शरीर में रचनात्मक एवं क्रियात्मक स्थायी परिवर्तन उत्पन्न होने की प्रक्रिया है।
Explanation:
अनुकूलन के अंतर्गत जीव अपनी प्रजनन की क्षमताओ को परिवर्तित कर सकते है। इसके साथ ही पूर्वजो से मिले हुए गुणों में भी बदलाव करके उसका परिष्करण किया जा सकता है। उदहारण के रूप में हम समझ सकते है, जैसे कि:-
- मरुस्थलीय इलाको में, जहाँ पानी की अत्यधिक कमी होती है, वहां कुछ प्रजाति के पौधे अपनी पत्तियों के किनारों पर एक ऐसे द्रव का निर्माण करते है, जिससे वाष्पोउत्सर्जन के अंतर्गत पानी की हानि कम से कम हो सके।
- ऐलन के नियम के अनुसार, बर्फीले स्थानों में स्तनधारियों के कानों का आकार छोटा होता है, जिससे शरीर की ऊष्मा का विसर्जन न हो सके और वो जीव वातावरण को अपने अनुसार अनुकूलित कर सके।
- सील जैसा समुद्री प्राणी, जो अधिकतर ठण्डे इलाकों में पाया जाता है, उसकी त्वचा की निचली परत मोटी होती है, जिससे की वो चल पता है।
- मानव में अनुकूलन :- अत्यधिक ऊंचाई पर रहने वाले मनुष्यों को अधिक आक्सीजन की आवश्यकता होती है, क्योकि ऊंचाई पर वायुमंडलीय दबाव कम होता है, इसलिए मनुष्य का शरीर स्वत: ही लाल रुधिर कोशिकाओ को बढ़ाकर एवं श्वसन की दर तेज कर देता है, जिससे शरीर की आक्सीजन की कमी दूर हो जाती है, और साँस लेने में तकलीफ नहीं होती।
#SPJ3
Similar questions