'अनुप्रस्थ' तोड़ा निर्माण किसे कहा जाता था  Search Modes AllNewsVideosShoppingImagesMapsBooksFlightsSearch tools Did you mean: 'अनुप्रस्थ' तोडा निर्माण किसे कहा जाता था Search Results Featured snippet from the web इसे सुनें अनुप्रस्थ टोडा निर्माण — सातवीं शताब्दी से लेकर दसवीं शताब्दी के बीच वास्तुकार कक्ष में दरवाजे और खिड़कियां अधिक संख्या बनाने लगे थे। तब छत ,दरवाजे और खिड़कियां दो ऊर्ध्वकार खंबों पर आर-पार शहतीर रखकर बनाए जाते थे। वास्तुकला की ये शैली 'अनुप्रस्थ टोडा निर्माण' कही जाती है।
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अनुप्रस्थ टोडा निर्माण - सातवीं और दसवीं शताब्दी के मध्य वास्तुकार भवनों में और अधिक कमरे, दरवाजे और खिड़कियाँ बनाने लगे। छत, दरवाजे और खिड़कियाँ अभी भी दो ऊर्ध्वाकार खंभों के आर-पार एक अनुप्रस्थ शहतीर रखकर बनाए जाते थे। वास्तुकला की यह शैली 'अनुप्रस्थ टोडा निर्माण' कहलाई जाती है । चापाकार सिद्धांत - दरवाज़ों और खिड़कियों के ऊपर की अधिरचना का भार कभी-कभी मेहराबों पर डाल दिया जाता था। वास्तुकला का यह 'चापाकार'
रूप था।
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