Hindi, asked by divyagupta2292002, 7 months ago


अपने घर में या आस-पास दिखाई देने वाले किसी रिवाज या अंधविश्वास पर एक लेख लिखिए।​

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Answered by jagadishsingh835
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: मेरे घर में दादी उम्र में सबसे बड़ी हैं। जबसे हमने होश संभाला है। उन्हें विभिन्न प्रकार के अंधविश्वासों में विश्वास करते पाया है। यदि बिल्ली रास्ता काट जाए, तो वह उसे अपशुकन मानती हैं। घर से निकलते समय यदि कोई छिंक दे, तो वह उसे कुछ समय तक निकलने नहीं देती है। उन्हें इस विषय में कितना समझाया जाए कि यह दकियानुसी बातें है। परन्तु वह अपनी बात पर अडिग रहती हैं। हमारे यहाँ रिवाज है कि यदि किसी स्त्री के पति की मृत्यु हो जाती है, तो वह लहसुन-प्याज खाना, माँस खाना एवम् रंग-बिरंगे वस्त्र पहनना छोड़ देती है। इसके साथ ही वह भगवान भजन करती है और हर प्रकार के मनोरंजन से परहेज़ करती है। वह अपना खाना भी स्वयं पकाती है। शादी-ब्याह के शुभ कार्य में किसी के सामने नहीं आती है। मेरे दादाजी की मृत्यु 35 बरस की उम्र में हो गई थी। मेरी दादी तब मात्र 28 साल की थी। उन्होंने तबसे इन सभी सामाजिक रीति-रिवाजों का पालन किया। पिताजी ने बहुत चाहा की दादी इस प्रकार के अंधविश्वासों तथा रीति-रिवाजों से स्वयं को बाहर निकाले परन्तु उनके सभी प्रयास विफल रहें। आज वह 80 साल की हैं। उन्होंने अपने जीवन के 52 साल कठिन परिश्रम किया परन्तु जीवन के सुखों का भोग नहीं किया। उन्होंने अपना छोटा सा व्यवसाय आरंभ किया परन्तु आज भी कोई उनका चेहरा नहीं देख पाता क्योंकि वह सदैव बाहरी लोगों से घूंघट करती हैं। इस उम्र में उन्हें बदलना संभव नहीं है। परन्तु मुझे बहुत दुख होता है, जब दादी के विषय में सोचता हूँ। इस प्रकार के रीति-रिवाजों ने उनके हृदय में इतनी गहरी पैठ बनाई हुई थी कि उन्होंने अपनी जिंदगी भी इसमें झोंक दी। ऐसी कितनी ही औरतें होगीं, जो इस प्रकार के रिवाज़ों और अंधविश्वासों की भेंट चढ़ जाती हैं। काश की हम उनके लिए कुछ कर पाते।

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