Hindi, asked by bimleshkumar928, 5 hours ago

अपनेमोहल्िेमेंहो रही और अब्नयब्मत जिापूर्तत की ब्शकायत हेतुजिदाय

ब्िभाग केअध्यक्ष को पत्र ब्िख​

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Answered by Pranavktyagi
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Answered by kushwahasaloni80
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तंजीन फातिमा व अब्दुल्ला आजम खां को तत्काल रिहायी का निर्देश प्रयागराज, 13 अक्टूबर (हि.स.)। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने फर्जी जन्म प्रमाणपत्र बनवाने के आरोप में जेल में बंद आजम खां की पत्नी डॉ. तंजीन फातिमा एवं बेटे मोहम्मद अब्दुल्ला आजम खां की जमानत अर्जी मंजूर कर ली है और इन्हे तत्काल रिहा करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने मोहम्मद आजम खां की भी जमानत अर्जी मंजूर कर ली है, किन्तु इन्हे शिकायत कर्ता आकाश सक्सेना का बयान दर्ज होने के बाद रिहा करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने विचारण न्यायालय अलीगढ़ से कोर्ट खुलने पर तीन माह के भीतर शिकायतकर्ता का बयान दर्ज करने की अपेक्षा की है। यह आदेश न्यायमूर्ति सिद्धार्थ ने डॉ. तंजीन फातिमा, मोहम्मद आजम खां व मोहम्मद अब्दुल्ला आजम खां की जमानत अर्जियो को निस्तारित करते हुए दिया है। याचियों के खिलाफ बीजेपी नेता आकाश सक्सेना ने रामपुर के गंज थाने में धोखाधड़ी, कूटकरण के आरोप में प्राथमिकी दर्ज करायी है। जिसमें पुलिस चार्जशीट दाखिल हो चुकी है। मुकदमा चल रहा है। आजम खां व तंजीन फातिमा पर आरोप है कि अपने बेटे की दो जन्मतिथि प्रमाणपत्र बनवाया है। एक नगर पालिका परिषद रामपुर व दूसरी नगर निगम लखनऊ से बनवाया है। दोनो मे जन्म तिथि मे काफी अंतर है। अब्दुल्ला आजम खां पर फर्जी जन्म प्रमाणपत्र का फायदा उठाकर विधान सभा चुनाव लड़ने का आरोप है। हाईकोर्ट ने इनका चुनाव निरस्त कर दिया है। अब्दुल्ला आजम खां का कहना था कि जन्म प्रमाणपत्र बनवाने मे उनकी कोई भूमिका नहीं है। इसलिए जमानत पर रिहा किया जाए। तंजीन फातिमा का कहना था कि महिला होने के कारण जमानत दी जाय। इसलिए दोनो को तत्काल रिहा करने का आदेश दिया गया है। परन्तु आजम खां को शिकायत कर्ता का बयान दर्ज करने के बाद रिहा करने का आदेश दिया गया है।

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