अरे दोहन रह ना पाए से कवि का क्या आशय है
Answers
Answered by
6
Answer:
Hey mate! I have the answer. I think this line is of Kabir Das. So here is the answer:-
कबीर जी इस पंक्ति में हिन्दुओं और मुस्लमानों के लिए बोल रहे हैं। उनका अर्थ है कि ये दोनों धर्म आंडबरों में उलझे हुए हैं। इन्हें सच्ची भक्ति का अर्थ नहीं मालूम है। धार्मिक आंडबरों को धर्म मानकर चलते हैं। कबीर के अनुसार ये दोनों भटके हुए हैं।
Explanation:
If my answer is correct so please Mark me as BRAINLIEST and FOLLOW ME.
Similar questions
Computer Science,
2 months ago
Science,
2 months ago
Biology,
5 months ago
CBSE BOARD X,
5 months ago
Math,
11 months ago
Physics,
11 months ago
English,
11 months ago