अवतल दर्पण के उपयोग लिखिए।
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Explanation:
अवतल दर्पण का उपयोग मुख्य रूप से टॉर्च, सर्च लाईट, तथा गाड़ियों के हेड लाईट आदि में किया जाता है। जिसमे की ब्लब को अवतल दर्पण के फोकस पर रखा जाता है। इस ब्लब से प्रकाश की किरणों का समानांतर बीम प्राप्त होता है जिसकी वजह से रौशनी दूर तक फैलती है। अवतल दर्पण का उपयोग दर्पण के रूप में हजामत बनाने के लिये किया जाता है।
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अवतल दर्पण का उपयोग मुख्य रूप से टॉर्च, सर्च लाईट, तथा गाड़ियों के हेड लाईट आदि में किया जाता है। जिसमे की ब्लब को अवतल दर्पण के फोकस पर रखा जाता है। इस ब्लब से प्रकाश की किरणों का समानांतर बीम प्राप्त होता है जिसकी वजह से रौशनी दूर तक फैलती है। अवतल दर्पण का उपयोग दर्पण के रूप में हजामत बनाने के लिये किया जाता है। अवतल दर्पण का उपयोग चेहरे का बड़ा प्रतिबिम्ब दर्पण के पीछे बनाने के लिए किया जाता है तथा हजामत बनाने में सुविधा होती है।
दाँतों के डॉक्टर द्वारा रोगी के दाँतों का बड़ा प्रतिबिम्ब देखने के लिये अवतल दर्पण का उपयोग किया जाता है।बड़े अवतल दर्पण का उपयोग सौर भट्ठी में किया जाता है और बड़े अवतल दर्पण का द्वारक भी बड़ा होता है, जिसकी वजह से यह सूर्य के किरणों की बड़ी मात्रा को एक जगह पर केन्द्रित कर उष्मा की बड़ी मात्रा देता है।
उत्तल दर्पण द्वारा प्रतिबिम्ब का बनाना
उत्तल दर्पण का मुख्य फोकस तथा वक्रता केन्द्र दर्पण के पीछे स्थित होता है इसी वजह से बिम्ब को केवल दो ही स्थिति में रख सकते है
1.जब बिम्ब एक अनंत दूरी पर हो
2.जब बिम्ब दर्पण के ध्रुव तथा अनंत दूरी के बीच हो