Hindi, asked by bhoomirawte, 4 months ago

बादल को घिरते देखा है कविता के प्रकृति चित्रण का आप चार बिद​

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Answered by sachinjain0323
3

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plz tell me which class

Answered by Anupk3724
2

बादलों को घिरते देखा है – कवि नागार्जुन

कवि परिचय – नागार्जुन का जन्म बिहार के तरौनी जिला में हुआ था। तरौनी गांव एक बेहद ही खूबसूरत गांव है इस गांव के पहुंचने के रास्ते में दोनों और ताल – तलैया मखाने , मोलेसरी के फूलों आदि से आच्छादित रास्ता है। प्रारंभिक शिक्षा संस्कृत पाठशाला तथा उच्च शिक्षा वाराणसी तथा कोलकाता से हुई।

रचनाएं काव्य – कृतियां – युगधारा , पथराई आंखें , तालाब की मछलियां , सतरंगे पंखों वाली , तुमने कहा था , रत्नगर्भा , पुरानी जूतियां का कोरस , हजार हजार बाहों वाली। आदि

उपन्यास – बलचनामा , जमुनिया का बाबा , कुंभी पाक , उग्रतारा , रविनाथ की चाची , वरुण के बेटे। आदि

सम्मान – विलक्षण प्रतिभा के धनी नागार्जुन को अनेक पुरस्कारों से सम्मानित किया गया

साहित्य अकादमी पुरस्कार

भारत भारती पुरस्कार

मैथिलीशरण गुप्त पुरस्कार

राजेंद्र प्रसाद पुरस्कार

हिंदी अकादमी दिल्ली का शिखर सम्मान।

काव्यगत विशेषताएं – नागार्जुन प्रगतिशील काव्यधारा के साहित्यकार रहे हैं।

कविताओं में बांग्ला , संस्कृत , अरबी , फारसी तथा मैथिली आदि भाषाओं के शब्दों का प्रयोग किया गया है।

भाषा सहज सरल व चित्रात्मक है।

काव्य में खड़ी बोली का भी प्रयोग है।

तत्सम – तद्भव शब्दों का प्रयोग मिलता है।

काव्य में धारदार व्यंग्य का वर्णन किया गया है।

काव्य की विशेषता छंदबद्ध तथा छंदमुक्त है।

कविता का परिचय – नागार्जुन द्वारा रचित बादलों को घिरते देखा कविता में प्रकृति का चित्रण किया गया है। यह कविता नागार्जुन की कविता संग्रह ‘युगधारा’ से ली गई है। वर्षा ऋतु के आने पर संपूर्ण प्रकृति में जो परिवर्तन आता है , उसका कवि ने छः दृश्य द्वारा वर्णन किया है। इसी प्रकृति से संबंधित मनोभावों को विविध बिंबो के माध्यम से अभिव्यक्त किया है। वह छः दृश्य इस प्रकार हैं –

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