bahavachak shabdh for 9th list of example
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परिभाषा: जो शब्द किसी चीज़ या पदार्थ की अवस्था, दशा या भाव का बोध कराते हैं, उन शब्दों को भाववाचक संज्ञा कहते हैं।
जैसे- बचपन, बुढ़ापा, मोटापा, मिठास, उमंग, चढाई, थकावट, मानवता, चतुराई, जवानी, लम्बाई, मित्रता, मुस्कुराहट, अपनापन, परायापन, भूख, प्यास, चोरी, क्रोध, सुन्दरता आदि।
उपर्युक्त उदाहरणों में बचपन, बुढ़ापा आदि किसी को आप छू नहीं सकते हैं; केवल अनुभव कर सकते हैं।
भाववाचक संज्ञा के कुछ अन्य उदाहरण (bhav vachak sangya examples in hindi)
भारत में गरीबी बढ़ रही है।
गरीबी शब्द से गरीब होने के भाव का बोध हो रहा है। अतः गरीबी एक भाववाचक संज्ञा शब्द है।
मेरा बचपन खेलकूद में बीता।
बचपन शब्द से बच्चा होने के भाव का बोध हो रहा है। अतः बचपन एक भाववाचक संज्ञा है।
मेरे दोस्त की लम्बाई मेरे से अधिक है।
लम्बाई शब्द से लम्बा होने के भाव का बोध हो रहा है। अतः लम्बाई एक भाववाचक संज्ञा है।
रमेश और सुरेश की आपस में दोस्ती है।
दोस्ती शब्द से दोस्त होने के भाव का बोध हो रहा है। अतः दोस्ती एक भाववाचक संज्ञा है।
विकास की आवाज़ में बहुत मिठास है।
मिठास शब्द से आवाज़ मीठी होने का बोध हो रहा है। अतः मिठास एक भाववाचक संज्ञा है।
तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हे आज़ादी दूंगा।
आज़ादी शब्द से आज़ाद होने के भाव का बोध हो रहा है। अतः आज़ादी एक भाववाचक संज्ञा है।
मुझे तुम पर काफी गुस्सा आ रहा है।
इस वाक्य में गुस्सा आना एक भाव को प्रदर्शित करता है, इस कारण यह भाववाचक संज्ञा का उदाहरण है।
मैं तुम से प्रेम करता हूँ।
इस वाक्य में ‘प्रेम’ एक भाव यानी अनुभव को जताता है, जिसकी वजह से यह भाववाचक है।
इंसानियत के नाते तुम्हें उसकी मदद करनी चाहिए।
उपरोक्त वाक्य भाववाचक संज्ञा का उदाहरण वाक्य है, जिसमें में ‘इंसानियत’ एक भाव है।
तुमसे मिलके मेरी बचपन की यादें ताज़ा हो गयी।
ऊपर दिए वाक्य में ‘बचपन’ एवं ‘यादें’ हमें भावों के बोध करा रहें हैं अतः यह वाक्य भाववाचक संज्ञा का उदाहरण है।