Hindi, asked by AseelObeida3797, 10 months ago

भोलाराम के मरने का सही कारण क्या था?

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Answered by joshimaya2010
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भोलाराम का जीव

स्वर्गीय श्री हरिशंकर परसाई

ऐसा कभी नहीं हुआ था।

धर्मराज लाखों वर्षो से असंख्य आदमियों को कर्म और सिफारिश के आधार पर स्वर्ग और नरक में निवास-स्थान अलाट करते आ रहे थे। पर ऐसा कभी नहीं हुआ था।

सामने बैठे चित्रगुप्त बार-बार चश्मा पोंछ, बार-बार थूक से पन्ने पलट, रजिस्टर देख रहे थे। गलती पकड में ही नहीं आरही थी। आखिर उन्होंने खीझकर रजिस्टर इतनी ज़ोरों से बन्द किया कि मख्खी चपेट में आगई। उसे निकालते हुए वे बोले, ''महाराज, रिकार्ड सब ठीक है। भोलाराम के जीव ने पांच दिन पहले देह त्यागी और यमदूत के साथ इस लोक के लिए रवाना हुआ, पर अभी तक यहां नहीं पहुंचा।''

Answered by shishir303
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भोलाराम के मरने का सही कारण समय पर अपनी पेंशन ना मिल पाने की चिंता और भूखा रहना था।  

Explanation:

भोलाराम एक सरकारी कर्मचारी था। जो अपनी नौकरी से रिटायर होने के बाद भी 5 साल तक अपनी पेंशन को नहीं पा सका। वो अपनी पेंशन के लिए सरकारी दफ्तरों में दरबदर भटकता रहा, लेकिन उसकी पेंशन की फाइल अटकी रही और उसकी पेंशन पास नहीं हुई। अपनी पेंशन को पाने की आस में वह मृत्यु को प्राप्त हो गया और धर्मराज द्वारा भेजा गया यमदूत उसके जीव को लेकर स्वर्ग को चला गया। लेकिन भोलाराम का जीव यमदूत को धोखा देकर वहां से भाग आया और अपनी पेंशन की फाइल में जा छिपा।  

“भोालराम का जीव” कहानी ‘हरिशंकर प्रसाद’ द्वारा लिखी एक व्यंग्यात्मक कहानी है, जो सरकारी सरकार दफ्तरों में व्याप्त भ्रष्टाचार पर तीखा व्यंग करती है।

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