Social Sciences, asked by psgalaxy123, 11 months ago

- भीमबेटका गुफा में चित्रकारी के उद्देश्य का विश्लेषण कीजिए।​

Answers

Answered by Shubhgyanji
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Answer:

मानव इतिहास की शुरआत के 10000 हज़ार साल पुराने चित्र,  

Explanation:

लाल और सफ़ेद रंग से बनी घोड़े, हाथी, बांघ, शिकार, सामूहिक नृत्य, मानव आकृतिया, युद्ध, दैनिक किर्या कलाप  को दर्शाते  है। भीमबेटका समूह में ऐसी करीब साढ़े सात सौ गुफाएं हैं जिनमें पांच सौ में प्रागैतिहासिक काल के मानव की चित्रकलाओं के नमूने आज तक सुरक्षित दर्ज हैं।

गुफा की दीवारों को कैनवस की तरह उपयोग किया है, और सबसे हैरान करने वाली बात, यहाँ पर सेकड़ो चित्र है, पर किसी भी चित्र को मिटा कर उस जगह पर नया चित्र नहीं बनाया गया है।

Answered by AwesomeSoul47
23

Answer:

hey dear,

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भीमबेटका - भारत के मध्य प्रदेश प्रान्त के रायसेन जिले में स्थित एक पुरापाषाणिक आवासीय पुरास्थल है। यह आदि-मानव द्वारा बनाये गए शैलचित्रों और शैलाश्रयों के लिए प्रसिद्ध है। इन चित्रों को पुरापाषाण काल से मध्यपाषाण काल के समय का माना जाता है। ये चित्र भारतीय उपमहाद्वीप में मानव जीवन के प्राचीनतम चिह्न हैं। यह स्थल मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से ४५ किमी दक्षिणपूर्व में स्थित है। इनकी खोज वर्ष १९५७-१९५८ में डॉक्टर विष्णु श्रीधर वाकणकर द्वारा की गई थी।

भीमबेटका क्षेत्र को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण, भोपाल मंडल ने अगस्त १९९० में राष्ट्रीय महत्त्व का स्थल घोषित किया। इसके बाद जुलाई २००३ में यूनेस्को ने इसे विश्व धरोहर स्थल घोषित किया।

यहाँ पर अन्य पुरावशेष भी मिले हैं जिनमें प्राचीन किले की दीवार, लघुस्तूप, पाषाण निर्मित भवन, शुंग-गुप्त कालीन अभिलेख, शंख अभिलेख और परमार कालीन मंदिर के अवशेष सम्मिलित हैं।

great question .

ऐसा माना जाता है कि यह स्थान महाभारत के चरित्र भीम से संबन्धित है एवं इसी से इसका नाम भीमबैठका (कालांतर में भीमबेटका) पड़ा। ये गुफाएँ मध्य भारत के पठार के दक्षिणी किनारे पर स्थित विन्ध्याचल की पहाड़ियों के निचले छोर पर हैं।

[1]इसके दक्षिण में सतपुड़ा की पहाड़ियाँ आरम्भ हो जाती हैं।

hopefully it's helpful for you .

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