Hindi, asked by chhavichhavi591, 5 months ago


भारत की सामाजिक कुरीतियां-विषय पर अपने शब्दों 5-6 पक्तियाँ लिखिए।

koi faltu msg nii agr answer aata h too answer do

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Answers

Answered by palminakshi16
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Answer:

भारत विभिन्नताओं का देश है । यहाँ भिन्न-भिन्न जातियों, धर्मों व संप्रदायों के लोग निवास करते हैं जिनका रहन-सहन, पहनावा, बोलियाँ व मान्यताएँ भी परस्पर भिन्न हैं ।

भारत के उत्तरी कोने से दक्षिणी कोने तक भ्रमण करें तो निस्संदेह भिन्नताओं को देखते हुए यह विश्वास करना कठिन हो जाता है कि ये सब भारत के ही भू भाग हैं । यहाँ का धरातल कहीं पर्वतीय है तो कहीं सपाट, कहीं घने जंगल हैं तो कहीं पठार । भाषा की विविधता भी यहाँ देखने को मिलती है । कुछ प्रदेशों में हिंदी भाषी लोग अधिक हैं तो कुछ में अवधी या फिर मराठी भाषा प्रधान है ।

कई प्रदेशों में अन्य क्षेत्रीय भाषा-भाषियों की प्रधानता है । उक्त सभी विभिन्नताएँ एक ओर जहाँ अनेकता में एकता के रंग बिखेरती हैं वहीं दूसरी ओर विभिन्न सामाजिक कुरीतियों को भी जन्म देती हैं । हमारी ये सामाजिक कुरीतियाँ कहीं पर प्रांतीयता की देन हैं तो कहीं भाषावाद, संप्रदाय या फिर जातिवाद की देन हैं ।

कहीं हिंदू लोग अपने संप्रदाय को ऊँचा रखने हेतु गोष्ठियाँ करते हैं, तो कहीं मुस्लिम या अन्य संप्रदाय के लोग अपना प्रचार-प्रसार करते दिखाई देते हैं । इन परिस्थितियों में जाने-अनजाने में जब किसी एक संप्रदाय के लोगों के अहं को ठेस पहुँचती है तब विरोधाभास की स्थिति उत्पन्न हो जाती है ।

इन परिस्थितियों में सामाजिक एकता खंडित होती प्रतीत होती है । फलस्वरूप दंगे-फसाद, झगड़े, मारकाट, चोरी आदि कुरीतियाँ पंख पसारने लगती हैं । इस प्रकार हम देखते हैं कि हमारी विभिन्नताएँ जो हमारी पहचान हैं वही अनेक प्रकार की सामाजिक कुरीतियों को जन्म देती हैं

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