भारत में स्वतंत्र एवं निष्पक्ष
चुनाव के समक्ष कौन कौन सी चुनौतियां है ?
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चंबा। स्थानीय बचत भवन में भारत निर्वाचन आयोग के नियुक्त चुनाव पर्यवेक्षकों ने विभिन्न राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों और चुनावी प्रक्रिया को पूरी करवाने में जुटे निर्वाचन अधिकारियों के साथ बैठक की। इस दौरान निर्वाचन आयोग के सामान्य पर्यवेक्षक कुलदीप नारायण ने कहा कि स्वतंत्र एवं निष्पक्ष चुनाव करवाना ही निर्वाचन आयोग का एकमात्र लक्ष्य है। ये सुनिश्चित होना चाहिए कि किसी मतदाता को प्रलोभन तो नहीं दिया जा रहा। उन्होंने यह भी कहा कि स्वतंत्र एवं निष्पक्ष चुनाव करवाने की प्रक्रिया में नियुक्त अधिकारी यह भी सुनिश्चित करें कि चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन तो नहीं हो रहा है। उन्होंने कहा कि अगर इस संबंध में कोई शिकायत आती है तो उसका निपटारा तय समय अवधि में किया जाना चाहिए। आयोग के सामान्य पर्यवेक्षक दयानिधन पांडे ने कहा कि विधानसभा चुनाव की पूरी प्रक्रिया निष्पक्षता के साथ पूरी की जाएगी। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि मतदाता बिना किसी दबाव और भय के अपने मताधिकार का प्रयोग करें। उन्होंने यह भी कहा कि विभिन्न राजनीतिक दलों और प्रत्याशियों द्वारा चुनाव प्रचार के लिए लगाए जाने वाले पोस्टर और बैनर इत्यादि की पूर्व अनुमति अवश्य ली जानी चाहिए। चुनाव पर्यवेक्षकों ने राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों को बताया कि पर्यवेक्षकों के मोबाइल नंबर उपलब्ध किए जा चुके हैं। विधानसभा चुनाव के दौरान अगर आचार संहिता के उल्लंघन को लेकर कोई शिकायत हो तो इन नंबरों पर संपर्क किया जा सकता है। इस मौके पर उपायुक्त एवं जिला निर्वाचन अधिकारी सुदेश मोख्टा ने बताया कि जिले में कुल 599 मतदान केंद्र स्थापित किए गए हैं। इसके अलावा 2 ऑगजिलीयरी मतदान केंद्र भी मौजूद हैं । उन्होंने कहा कि सार्वजनिक संपत्ति पर किसी भी तरह की प्रचार सामग्री को नहीं लगाया जा सकता है। राजनीतिक दलों और प्रत्याशियों को ये सुनिश्चत करना चाहिए कि आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन ना हो।
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Answer:
‘भारत में, स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव के मूल्य को हमेशा बढ़ावा दिया गया है’।. समर्थन करें।
तथ्यों के साथ बयान।