भारतीय चुनाव प्रणाली के दोष लिखें
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Explanation:
. मतदान मे पूर्ण भागीदारी का अभाव
सार्वभौम वयस्क मताधिकार प्रणाली का उद्देश्य सभी नागरिकों को शासन मे अप्रत्यक्ष भागीदार बनाना है। हम यह देखते है कि लोकसभा तथा राज्य विधानसभा चुनावों मे एक बड़ी संख्या मे मतदाता अपना वोट देने नही जाते हैं। इस कारण मतदाताओं के बहुमत से निर्वाचित उम्मीदवार जनता का प्रतिनिधि नही होता है। अतः यह वांछनीय है कि, सभी नागरिकों को मतदान मे भाग लेना चाहिए।
2. चुनाव में धन का प्रयोग
भारतीय चुनावों मे बहुत धन खर्च होता हैं। निर्वाचन मे बढ़ता खर्च एक बड़ी समस्या है। सभी चुनावों मे खर्च की सीमा निर्धारित है, परन्तु चुनाव मे भाग लेने वाले अनेक प्रत्याशी बहुत धन खर्च करत है। धन व बल के अभाव मे कई बार कुछ अच्छे और ईमानदार व्यक्ति चुनाव लड़ने मे असमर्थ होते हैं। चुनाव मे धन प्रयोग व्यक्ति की अनैनिक भूमिका का द्दोतक हैं, जो चुनाव व्यवस्था मे सुधार की दृष्टि से गंभीर समस्या हैं।
3. चुनाव में बाहुबल का प्रभाव
कई बार कुछ प्रत्याशी हर तरोके से चुनाव जीतना चाहते है, वे चुनाव मे अपराधियों की मदद भी लेते है। हिंसा और बल का प्रयोग कर लोगों को डरा-धमकाकर वोट देने से रोकने, मतदान केंद्र पर कब्जा करने, जबरदस्ती अवैध तरीके से मत डलवाना आदि काम भी करवाते है।