भारतवर्ष के से सदा धर्म के रूप में देखता आ रहा है class 8
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¿ भारतवर्ष किसे सदा धर्म के रूप में देखता आ रहा है ?
➲ भारतवर्ष सदैव कानून को धर्म के रूप में देखता आ रहा है।
‘क्या निराश हुआ जाए’ पाठ में लेखक कहते हैं कि भारतवर्ष में सदैव कानून को धर्म की तरह माना गया है, लेकिन आज ऐसा समय आ गया है कि कानून और धर्म के बीच के अंतर को मिटा दिया गया है। आज के लोग धर्म की अपेक्षा कानून को अधिक महत्व देते हैं, जबकि एक समय ऐसा था जब लोग धर्म के रास्ते पर चलते थे। वे सच्चाई, ईमानदारी और परोपकार करने की भावना से भरे होते थे। वे एक-दूसरे के भलाई के कार्य किया करते थे। तब उन्हें किसी भी तरह के कानून के पालन की आवश्यकता नहीं होती थी, क्योंकि उनके लिये लिये धर्म के रास्ते पर चलना ही कानून के रास्ते पर चलने के समान था।
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