Hindi, asked by vaibhavvashisth34, 6 months ago

बहुत रोकता था सुखिया को, ‘न जा खेलने को बाहर’, नहीं खेलना रुकता उसका नहीं ठहरती वह पल भर। मेरा हृदय काँप उठता था, बाहर गई निहार उसे; यही मनाता था कि बचा लूँ, किसी भाँति इस बार उसे। भीतर जो डर रहा छिपाए, हाय! वही बाहर आया। एक दिवस सुखिया के तनु को, ताप तप्त मैंने पाया। ज्वर में विह्वल हो बोली वह, क्या जानूँ किस डर से डर, मुझको देवी के प्रसाद का, एक फूल ही दो लाकर। (i) कविता किस समस्या पर केंद्रित है? (ii) सुखिया का पिता सुखिया को बाहर जाने से क्यों रोक रहा था? (iii) सुखिया के पिता को किस बात का डर था? (iv) बच्ची ने बुखार के दर्द में अपने पिता से क्या माँगा? (v) पिता का हृदय क्या देखकर काँप उठता था?​

Answers

Answered by bhanudiwaker2263
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Answer:

सुखिया को इसलिए दंडित किया गया था क्योंकि वह है अछूत था और वह मंदिर में चला गया और मंदिर को अपवित्र कर दिया इसलिए सुखिया को 10 साल के 10 साल के लिए कारावास भेज दिया गया था इसलिए वह अपनी बच्ची को भी बाहर जाने से मना करता था और रोकता था

Explanation:

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