Bhav vachak Sangya kitne Prakar ke Hote Hain
Answers
भावाचक संज्ञा के कितने प्रकार होते हैं? परिभाषा: जो शब्द किसी चीज़ या पदार्थ की अवस्था, दशा या भाव का बोध कराते हैं, उन शब्दों को भाववाचक संज्ञा कहते हैं। जैसे- बचपन, बुढ़ापा, मोटापा, मिठास, उमंग, चढाई, थकावट, मानवता, चतुराई, जवानी, लम्बाई, मित्रता, मुस्कुराहट, अपनापन, परायापन, भूख, प्यास, चोरी, क्रोध, सुन्दरता आदि।
भाववाचक संज्ञा कितने प्रकार को होती है ?
भाववाचक संज्ञा का केवल एक ही भेद होता है। इसका कोई उपभेद नहीं होता है।
व्याख्या :
जिन शब्दों से किसी पदार्थ की अवस्था, दशा या भाव का बोध होता है, उन्हें भाववाचक संज्ञा कहते हैं।
जैसे, ईमादारी, निपुणता, दयालुता, मिठास, अपनत्व आदि।
भाववाचक संज्ञा व्यक्ति, वस्तु अथवा पदार्थ की अवस्था का बोध कराती है।
संज्ञा व्याकरण की भाषा में उन शब्दों को कहते हैं, जो किसी व्यक्ति, वस्तु अथवा स्थान या उसके नाम के प्रकट करते हैं।
संज्ञा के पाँच भेद होते हैं :
- व्यक्तिवाचक संज्ञा
- जातिवाचक संज्ञा
- भाववाचक संज्ञा
- समूहवाचक संज्ञा
- द्रव्यवाचक संज्ञा
#SPJ3
——————————————————————————————————————
कुछ और जानें :
हिंदु की भाववाचक संज्ञा क्या है ?
https://brainly.in/question/17411436?msp_srt_exp=4
कुशल की भाववाचक संज्ञा क्या है ?
https://brainly.in/question/17074053