छोटी बहन को विदेश जाने के लिए प्रोत्साहन करने हेतु पत्र लिखिए।
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कौशिक एन्क्लेव,दिल्ली।
दिनांक 15 मार्च, 20XX
प्रिय अनुज मुकेश,शुभाशीर्वाद।
पिछले दिनों तुम्हारा पत्र मिला। पत्र में तुमने मुझसे 20 मार्च को दिल्ली आने की गुजारिश की हैं। मुझे याद हैं कि 20 मार्च को तुम्हारा जन्म-दिन हैं और इसलिए तुमने मुझे घर आने के लिए लिखा हैं। जन्म-दिवस के उपलक्ष्य में मैं तुम्हें हार्दिक बधाई देता हूँ। मैं प्रभु से यही कामना करता हूँ कि तुम्हारा भावी जीवन सुखद एवं मंगलमय हो। ईश्वर तुम्हारी सम्पूर्ण इच्छाओं को पूर्ण करे।
इस शुभ अवसर के उपलक्ष्य में मैं तुम्हारे लिए चुनी हुई कुछ पुस्तकों का उपहार रजिस्टर्ड डाक से भेज रहा हूँ। मुझे विश्वास हैं कि तुम पुस्तकों में निहित ज्ञान को ग्रहण करके प्रगति के पथ पर आगे बढ़ोगे। अपनी व्यस्तताओं के चलते मैं इस बार तुम्हारे जन्म-दिन के उपलक्ष्य में वहाँ पर उपस्थित नहीं हो सकता, आशा हैं इसे अन्यथा नहीं लोगे। मेरा आशीर्वाद हमेशा तुम्हारे साथ हैं।
घर में सभी को यथायोग्य प्रणाम।
तुम्हारा भाई,नरेन्द्र
(2) चित्रकला प्रतियोगिता में प्रथम आने पर मित्र को बधाई पत्र लिखिए।
224, वसंत कुंज,नई दिल्ली।
प्रिय गौरव,मधुर स्मृतियाँ।
मैं यहाँ कुशल हूँ और ईश्वर से तुम्हारी कुशलता की कामना करता हूँ। दो दिन पहले ही तुम्हारा पत्र प्राप्त हुआ। यह जानकर अत्यंत प्रसन्न्ता हुई कि तुमने अंतविद्यालयी चित्रकला प्रतियोगिता में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। मेरे परिवार व मेरी ओर से तुम्हें हार्दिक बधाई। तुम बचपन से ही चित्रकला में रुचि लेते आए हो और अपनी कक्षा में भी सबसे सुंदर चित्र बनाते हो। सभी अध्यापक व अध्यापिकाएँ भी तुम्हारी प्रशंसा करते हैं। तुम्हारी मेहनत व लगन का परिणाम आज तुम्हारे सामने है। भविष्य में भी तुम इसी प्रकार सफलता प्राप्त करते रहो, मेरी यही कामना है।
अपने माता-पिता को मेरा प्रणाम कहना और आरुषी को स्नेह देना। पत्र का उत्तर शीघ्र देना।
तुम्हारा मित्र,अनुराग
दिनांक 15 मार्च, 20XX
प्रिय अनुज मुकेश,शुभाशीर्वाद।
पिछले दिनों तुम्हारा पत्र मिला। पत्र में तुमने मुझसे 20 मार्च को दिल्ली आने की गुजारिश की हैं। मुझे याद हैं कि 20 मार्च को तुम्हारा जन्म-दिन हैं और इसलिए तुमने मुझे घर आने के लिए लिखा हैं। जन्म-दिवस के उपलक्ष्य में मैं तुम्हें हार्दिक बधाई देता हूँ। मैं प्रभु से यही कामना करता हूँ कि तुम्हारा भावी जीवन सुखद एवं मंगलमय हो। ईश्वर तुम्हारी सम्पूर्ण इच्छाओं को पूर्ण करे।
इस शुभ अवसर के उपलक्ष्य में मैं तुम्हारे लिए चुनी हुई कुछ पुस्तकों का उपहार रजिस्टर्ड डाक से भेज रहा हूँ। मुझे विश्वास हैं कि तुम पुस्तकों में निहित ज्ञान को ग्रहण करके प्रगति के पथ पर आगे बढ़ोगे। अपनी व्यस्तताओं के चलते मैं इस बार तुम्हारे जन्म-दिन के उपलक्ष्य में वहाँ पर उपस्थित नहीं हो सकता, आशा हैं इसे अन्यथा नहीं लोगे। मेरा आशीर्वाद हमेशा तुम्हारे साथ हैं।
घर में सभी को यथायोग्य प्रणाम।
तुम्हारा भाई,नरेन्द्र
(2) चित्रकला प्रतियोगिता में प्रथम आने पर मित्र को बधाई पत्र लिखिए।
224, वसंत कुंज,नई दिल्ली।
प्रिय गौरव,मधुर स्मृतियाँ।
मैं यहाँ कुशल हूँ और ईश्वर से तुम्हारी कुशलता की कामना करता हूँ। दो दिन पहले ही तुम्हारा पत्र प्राप्त हुआ। यह जानकर अत्यंत प्रसन्न्ता हुई कि तुमने अंतविद्यालयी चित्रकला प्रतियोगिता में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। मेरे परिवार व मेरी ओर से तुम्हें हार्दिक बधाई। तुम बचपन से ही चित्रकला में रुचि लेते आए हो और अपनी कक्षा में भी सबसे सुंदर चित्र बनाते हो। सभी अध्यापक व अध्यापिकाएँ भी तुम्हारी प्रशंसा करते हैं। तुम्हारी मेहनत व लगन का परिणाम आज तुम्हारे सामने है। भविष्य में भी तुम इसी प्रकार सफलता प्राप्त करते रहो, मेरी यही कामना है।
अपने माता-पिता को मेरा प्रणाम कहना और आरुषी को स्नेह देना। पत्र का उत्तर शीघ्र देना।
तुम्हारा मित्र,अनुराग
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