Class 10 hindi sparsh all chapters ke sayukth vakya, saral vakya, mishrit vakyo ki suchi chahiye
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himanshuchakkip9w7ux
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नमस्कार मित्र!
रचना की दृष्टि से वाक्य के तीन भेद होते हैं-
1. सरल वाक्य, 2. संयुक्त वाक्य और 3. मिश्र वाक्य।
1. सरल वाक्य- नाम से ज्ञात होता है जो वाक्य छोटा हो जिसमें एक उद्देश्य और एक विधेय हो वह सरल वाक्य होता है।
जैसे- राम ने तीर मारा।
इस वाक्य में राम ने 'उद्देश्य' है और तीर मारा 'विधेय' है। एक अन्य उदाहरण देखिए
श्रेया कक्षा में प्रथम आई है।
इस वाक्य में श्रेया 'उद्देश्य' है और 'कक्षा में प्रथम आई है'विधेय है।
2. संयुक्त वाक्य- इस वाक्य में दो वाक्य समानता के आधार पर समानाधिकरण समुच्चयबोधकों (और, परंतु, एवं तथा, किंतु, वरना, या, अत: लेकिन बल्कि) से आपस में जुड़े होते हैं। उदाहरण के लिए-
हमने कल दाल, भात और रोटी बनाई थी।
इस वाक्य में और अव्यय शब्द से दो वाक्य आपस में जुड़े हुए हैं। अत: यह संयुक्त वाक्य है।
3. मिश्र वाक्य- इस वाक्य में एक प्रधान उपवाक्य और दूसरा आश्रित उपवाक्य होता है। यह आपस में व्यधिकरण समुच्चबोधकों (क्योंकि, सलिए यदि, तो, यद्यपि, तथापि, ताकि, जिससे, मानो) शब्दों से जुड़ा होता है।
जैसे-
पिताजी के चित्र को देखकर लगाता है मानो वह यहीं हैं।
इस वाक्य में मानो अव्यय शब्द से दो वाक्य आपस में जुड़े हुए हैं। अत: यह मिश्र वाक्य है।
सरल वाक्य पहचाना सरल होता है परन्तु जब बात आती है संयुक्त और मिश्र वाक्य की दो इनको पहचाने के लिए ध्यान रखिए कि इन दोनों में समुच्चयबोधक अव्यय का कौन-सा भेद है। यदि आपको इस बात का ज्ञान हो गया तो आपको कभी इनको पहचानने में कठिनाई नहीं आएगी।