Hindi, asked by Anonymous, 1 year ago

class10 in hindi kanyadan ch short summary

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Answered by mchatterjee
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बेटियां जब तक बाबुल के घर में होती है। मां और पिताजी की दुलारी होती है। विवाह के बाद बेटियों को पराया धन कहकर विदाई दी जाती है।

विदाई के वक्त एक मां की मन की व्यथा को कवि द्वारा बताया गया है। मां बेटी को बताती है कि गहनों , कपड़ों के माया में न पड़ना । यह सब संसार के जंजाल है।

मां ने कमजोर न पड़ने को कहा और अत्याचार के विरुद्ध खड़े होने को कहा।

आग को खाना बनाने के लिए प्रयोग किया जाता है जलने और जलाने के लिए। इसका ध्यान देने को कहा।

एक मां को विदा के वक्त भी बेटी की खुशी की चिंता होती है ।
Answered by biswaskumar3280
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Answer:

प्रस्तुत कविता में कवि ऋतुराज ने माँ और बेटी के बीच होने वाली घटना का वर्णन किया है। जब एक माँ अपनी बेटी को शादी के बाद विदा करती है, तो उसे ऐसा लगता है, मानो उसके जीवन की सारी जमा पूँजी उससे दूर चली जा रही है। फिर उनका पुत्री-मोह उन्हें इस बात से भयभीत करता है कि उनकी बेटी नए घर में जा रही है, कहीं उसे कुछ परेशानी ना हो, या उसे कोई अत्याचार न सहना पड़े। इन सब के कारण माँ चिंतित होकर अपनी फूल-सी बेटी को भले-बुरे का पाठ पढ़ाने लग जाती है, जिसे जीवन में आने वाले दुखों का कोई बोध ही नहीं हैं, उसने सिर्फ अभी कुछ खुशियां ही देखी हैं और उन्हीं के सपने सजाए हैं।

अर्थात जब तक किसी लड़की की शादी नहीं होती, तब तक उसे घर में एक बच्ची की तरह बड़े लाड-दुलार से पाला जाता है। परन्तु, विदाई के वक्त अचानक से वह बड़ी लगने लगती है और उसकी माँ उसे सही गलत समझाने में लग जाती है।

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