Hindi, asked by vilas4328, 1 year ago

Desh Bakthi Bhavna Par Char Panktiyo Ko Kavita

Answers

Answered by jatin1270
1

Answer:

Explanationहरी भरी धरती हो

नीला आसमान रहे

फहराता तिरँगा,

चाँद तारों के समान रहे।

त्याग शूर वीरता

महानता का मंत्र है

मेरा यह देश

एक अभिनव गणतंत्र है

शांति अमन चैन रहे,

खुशहाली छाये

बच्चों को बूढों को

सबको हर्षाये

 

हम सबके चेहरो पर

Short Desh Bhakti Poem in Hindi – प्यारा हिंदुस्तान है|

अमरपुरी से भी बढ़कर के जिसका गौरव-गान है-

तीन लोक से न्यारा अपना प्यारा हिंदुस्तान है।

गंगा, यमुना सरस्वती से सिंचित जो गत-क्लेश है।

सजला, सफला, शस्य-श्यामला जिसकी धरा विशेष है।

ज्ञान-रश्मि जिसने बिखेर कर किया विश्व-कल्याण है-

सतत-सत्य-रत, धर्म-प्राण वह अपना भारत देश है।

यहीं मिला आकार ‘ज्ञेय’ को मिली नई सौग़ात है-

इसके ‘दर्शन’ का प्रकाश ही युग के लिए विहान है।

वेदों के मंत्रों से गुंजित स्वर जिसका निर्भ्रांत है।

प्रज्ञा की गरिमा से दीपित जग-जीवन अक्लांत है।

अंधकार में डूबी संसृति को दी जिसने दृष्टि है-

तपोभूमि वह जहाँ कर्म की सरिता बहती शांत है।

इसकी संस्कृति शुभ्र, न आक्षेपों से धूमिल कभी हुई-

अति उदात्त आदर्शों की निधियों से यह धनवान है।।

योग-भोग के बीच बना संतुलन जहाँ निष्काम है।

जिस धरती की आध्यात्मिकता, का शुचि रूप ललाम है।

निस्पृह स्वर गीता-गायक के गूँज रहें अब भी जहाँ-

कोटि-कोटि उस जन्मभूमि को श्रद्धावनत प्रणाम है।

यहाँ नीति-निर्देशक तत्वों की सत्ता महनीय है-

ऋषि-मुनियों का देश अमर यह भारतवर्ष महान है।

क्षमा, दया, धृति के पोषण का इसी भूमि को श्रेय है।

सात्विकता की मूर्ति मनोरम इसकी गाथा गेय है।

बल-विक्रम का सिंधु कि जिसके चरणों पर है लोटता-

स्वर्गादपि गरीयसी जननी अपराजिता अजेय है।

समता, ममता और एकता का पावन उद्गम यह है

देवोपम जन-जन है इसका हर पत्थर भगवान है।

Answered by Mouktik000
0

Answer:

Explanation:

हरी भरी धरती हो

नीला आसमान रहे

फहराता तिरँगा,

चाँद तारों के समान रहे।

त्याग शूर वीरता

महानता का मंत्र है

मेरा यह देश

एक अभिनव गणतंत्र है

शांति अमन चैन रहे,

खुशहाली छाये

बच्चों को बूढों को

सबको हर्षाये

Mark me as brainlist

Similar questions