Hindi, asked by Nitin4219, 2 months ago

Dimagi gulami me lekhak ne koun se vichar udhaye hai

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Answered by akankshajaiswal2109
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Answer:

दिमागी गुलाम पुस्तक की रचना प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार राहुल सांकृत्यायन ने की है। इस पुस्तक के माध्यम से राहुल सांकृत्यायन ने भारत की शोषित उत्पीड़ित जनता को हर प्रकार की गुलामी से आजाद कराने के लिए अपने विचार प्रस्तुत किए हैं।

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Q 1

नैतिक मूल्य और भाषा

प्रश्न 1. दिमागी गुलामी' निबंध का सार अपने शब्दों में लिखिए।

उत्तर- लेखक के अनसार 'दिमागी गलामी' से तात्पर्य मानसिक दासता से है। ये मानसिक दासता प्रान्तवाद, क्षेत्रवाद, जातिवाद व राष्ट्रवाद के नाम पर मनुष्य के मन-मस्तिष्क को जकड़ लिया है। मनुष्य की सोच इन्हीं बातों पर टिकी है जिससे संकीर्णता की भावना ने अपना प्रभाव जमा लिया है।

लेखक कहते हैं आज जिस जाति की सभ्यता जितनी पुरानी होती है उनके मानसिक बंधन भी उतने ही अधिक जटिल होते हैं। हमारी सभ्यता जितनी पुरानी है उतनी ही अधिक रुकावटें भी हैं। हमारी आर्थिक, सामाजिक, राजनीतिक समस्याएं इतनी अधिक और जटिल हैं कि हम उनका कोई इल सोच ही नहीं सकते जब तक हम अपनी विचारधाराओं को बदलकर सोचने का प्रयत्न नहीं करते हैं। अपने प्राचीन काल के गर्व के कारण हम अपने भूत में इतने कड़ाई से बंधे हैं कि उनसे हमें ऊर्जा मिलती है। हम अपने पूर्वजों की धार्मिक बातों को आंख मूंदकर मान लेते हैं। आज समाज में धर्म-प्रचार पूर्ण रूप से नफे का रोजगार है अधिकांश लोग आज इसे अपने व्यवसाय के रूप में अपना रहे हैं। इसके साथ-साथ एक नया मत भी लगभग 50-60 वर्षों से चल रहा है । दुनिया भर में कई लोग भूत-प्रेत, जादू-मंत्र सबको विज्ञान से सिद्ध करने में लगे हैं।

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