Hindi, asked by viralhacks, 1 day ago

dr harikrishna devsare jeevan parichay​

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Answered by aliyama
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Spiderman no way home ️️️️

Answered by harshvijari
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बाल साहित्यकार डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे का लम्बी बीमारी के बाद गाजियाबाद में 14 नवंबर 2013 को निधन हो गया. वह 75 वर्ष के थे.

डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे से संबधित मुख्य तथ्य

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे का जन्म मध्य प्रदेश के नागोद में 9 मार्च 1938 को हुआ.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे को बाल साहित्य में योगदान के लिए साल 2011 में साहित्य अकादमी बाल साहित्य लाइफटाइम पुरस्कार से सम्मानित किया गया.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे देश के पहले व्यक्ति थे जिन्होंने बाल साहित्य में डाक्टरेट की उपाधि हासिल की थी.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे को पहले वात्सल्य पुरस्कार से सम्मानित किया गया.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे ने अपने लेखन में प्रयोग धर्मिता के लिए मशहूर देवसरे ने आधुनिक संदर्भ में राजाओं और रानियों तथा परियों की कहानियों की प्रासंगिकता के सवाल पर बहस शुरू की थी.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे को बाल साहित्यकार सम्मान, उत्तर प्रदेश हिंदी संस्थान के बाल साहित्य सम्मान, कीर्ति सम्मान (2001) और हिंदी अकादमी का साहित्यकार सम्मान (2004) सहित कई पुरस्कारों और सम्मानों से सम्मानित किया गया.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे ने वर्ष 2007 में न्यूयार्क में आयोजित विश्व हिंदी सम्मेलन में भाग लिया था.

• उन्होंने अपने जीवन काल में तीन सौ से अधिक पुस्तकें लिखीं.

• उन्होंने भारतीय भाषाओं में रचित बाल-साहित्य में

रचनात्मकता पर बल दिया और बच्चों के लिए मौजूद विज्ञान-कथाओं और एकांकी के ख़ालीपन को भरने की कोशिश की.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे करीब 22 साल तक आकाशवाणी से जुड़े रहे और स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लेने के बाद पराग पत्रिका का संपादन किया था.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे ने धारावाहिकों, टेलीफिल्मों और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी पर आधारित कार्यक्रमों के लिए कहानी भी लिखी.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे ने कई किताबों का अनुवाद किया.

• डॉक्टर हरिकृष्ण देवसरे ने 1960 में कार्यक्रम अधिशासी के रूप में आकाशवाणी से अपना करियर शुरू किया और 1984 तक विभिन्न विषयों पर महत्वपूर्ण कार्यक्रमों का निर्माण और प्रसारण किया.

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