एक एकाधिकारी फर्म की कुल स्थिर लागत 100 रु और निम्नलिखित माँग सारणी है:
अल्पकाल में संतुलन मात्रा, कीमत और कुल लाभ प्राप्त कीजिए। दीर्घकाल में संतुलन क्या होगा? जब कुल लागत 1,000 रु. हो, तो अल्पकाल और दीर्घकाल में संतुलन का वर्णन करें।
Answers
एक एकाधिकारी फर्म की कुल स्थिर लागत 100 रु और निम्नलिखित माँग सारणी है:
मात्रा कीमत TR MR MC TC TR-TC=लाभ
1 100 100 100 0 100 0
2 90 180 80 0 100 180
3 80 240 60 0 100 140
4 70 250 40 0 100 10
5 60 300 20 0 100 200
6 50 300 0 0 100 200
7 40 280 -20 0 100 180
8 30 240 -40 0 100 140
9 20 180 -60 0 100 80
10 10 100 -80 0 100 0
अत : उत्पादक संतुलन में है जब MR=TR
6 इकाई पर | इस इकाई पर संतुलन मात्रा =6 इकाई
संतुलन कीमत= 50 रुपए तथा कुल लाभ
= कुल संप्राप्ति= कुल लागत है |
= 300-100 = 200 रुपए है|
(B) दीर्घकाल में भी संतुलन यही होगा , क्योंकि एकाधिकारी बाज़ार में नई फर्मों के प्रवेश पर प्रतिबंध होता है|
( C ) यदि कुल लागत 1000 हो तो प्रत्येक स्तर पर लाभ इस प्रकार होगा |
मात्रा 1 2 3 4 5 6 7 8 9 10
TR 100 180 240 280 300 280 240 180 100
TC 1000 1000 1000 1000 1000 1000 1000 1000 1000 1000
लाभ - 900 -820 -760 -720 -700 -700 - 720 -760 -820 -900
अल्पकाल में यह 6 इकाई पर संतुलन में होगा , जहाँ MR=MC और TR-TC अधिकतम है जहाँ लाभ अधिकतम नहीं हो सकता तो कम से कम हानि का न्यूनीकरण किया जाना चाहिए|
दीर्घकाल में फर्म उत्पादन बंद कर देगी , क्योंकि इससे हानि हो रही है |
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नीचे दी गई सारणी से कुल संप्राप्ति माँग वक्र और माँग की कीमत लोच की गणना कीजिए।