Hindi, asked by mahima2830, 1 year ago

essay on Swasth Bachche Swasth Bharat in Hindi​

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Answered by vishal25791
4

Answer:

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mahima2830: thanks
vishal25791: wlcm
mahima2830: hiii
vishal25791: hlo
mahima2830: ☺️☺️☺️☺️
vishal25791: mtlb
mahima2830: nice to meet you bro
vishal25791: I also sis
Answered by kritiku2005
2

Answer:स्वस्थ भारत या स्वास्थ्य ही जीवन है

यदि हम स्वस्थ है तो हम एक साधारण भारत के नागरिक भी है। यदि हम अस्वस्थ है तो गरीब, अयोज्य और उपेक्षित भी है। किसी देश, जाति, समाज तथासंप्रदाय की उन्नति तभी संभव है, जबकि वे स्वस्थ और स्फूर्त है। संसार के इतिहास को उठाकर इस बात का अध्ययन करें कि कौन- सा देश कब उन्नतिशील, स्मृद्धिशील, सभ्य और सुसंकृत रहा, तो यह स्पष्ट हो जाएगा कि कोई भी देश तभी श्रेष्ठ रहा जबकि उससे नागकि स्वस्थ रहें। विश्व स्वास्थ्य संगठन की विभिन्न रिपोर्टों से भी यह सिद्ध हो रहा है। वास्तव में जीने के उद्देश्य स्वस्थ रहने से है। अस्वस्थ व्यक्ति न केवल स्वंय दुखी, रोगी और उपेक्षित रहते हैं अपितु वह सारे समाज तथा विश्व के लिए भार हैं। उससे सभी की प्रगति रुक जाती है या उनकी प्रगति में रुकावटें पैदा होती हें। वस्तुतया स्वस्थ व्यक्ति या समाज का जागरुक एंव उपयोगी है।

‘तन चंगा तो मन चंगा’ – यह एक बहुत ही पुरानी लोकोक्ति है। अंग्रेजी में भी एक कहावत है जिसका अर्थ है-स्वास्थ्य ही धन है। वास्तव में जिसका स्वास्थ्य अच्छा है, वह भाज्यशाली है। यदि किसी के पास अपार धन है, परंतु वह अस्वस्थ है, तो वह जीवन का आनंद नहीं उठा सकता। इसी प्रकार यदि किसी के पास विद्या है, परंतु वह रोगी है, तो उसका जीवन व्यर्थ है। वास्तव में, स्वास्यि ही जीवन है।

‘पहला सुख नीरोगी काया’। यह लोकोक्ति समीचीन है। काया में कोई रोग नहीं तो हम सुखी है, और यदि रोक है तो दुखी हैं। तभी कहा गया है कि स्वास्यि सुख की कुंजी है।

स्वस्थ रहने की पहली शर्त है ताजा हवा और शुद्ध पानी। हर पल हम सांस लेते और छोड़ते हैं। सांस लेने का मतलब है, हम हवा ग्रहण करते और सांस छोडऩे का मतलब है कि हम अपने शरीद से गंदी हवा बाहर निकालते हैं। आखिर जीवन है क्या? यह सांसों का आना-जाना ही तो जीवन है। गांवों में ताजा हवा मिलती है। परंतु गंदगी के कारण यह दूषित हो जाती है। गांव के चारों और घूरे पड़े रहते हैं। जगह-जगह कूड़े-करकट के ढेर लगे रहते हैं। लोग गांव के आस-पास  ही दिशा-पानी के लिए बैठ जाते हैं। इससे गंदगी फैलती है और बदबू के मारे सिर-भन्ना जाता है। कूड़े-करकट और घर के सामने गंदा पानी भरा या फैला रहने के काण मक्खी-मच्छर उत्पन्न हो जाते हैं। जरा सोचिए ऐसी हालत में कैसे स्वस्थ रहा जा सकता है। यदि गांव को साफ-सुथरा रखा जाए तो वहां के निवासी ताजा हवा के लिए तरसेंगे नहीं और बेहतर स्वास्थ्य लाभ कर सकेंगे।

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mahima2830: thanks
kritiku2005: Welcome :)
mahima2830: hii
mahima2830: follow me
mahima2830: if you will not follow me and i will not follow u
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