Hindi, asked by Arshyan8738, 11 months ago

Facebook aur yuva varg par anuchedh

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Answered by ranyodhmour892
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वन्दना शर्मा

सोशल मीडिया आज के समय में युवाओं में सबसे अधिक लोकप्रिय है कोई भी इससे अछूता नहीं रह गया है। यह समाज के बीच ऐसा मीडियम बनकर पहुंच चुका है जहां वे एक-दूसरे से जुड़ते हैं, जानकारियां शेयर करते हैं। आज का युवा वर्ग अपने हाथ में स्मार्ट फोन लिए सारी दुनिया से जुड़ा हुआ है फिर चाहे वह फेसबुक, ट्विटर, यू-ट्यूब, ब्लॉग या ऑरकुट के ही रूप में ही क्यों न हो। सोशल मीडिया पर समय बिता रहे इन युवाओं ने एक जुट होकर एक नया समाज बना लिया है। दोनों के बीच एक गहरा रिश्ता बन चुका है।

अब सभी के पास स्मार्ट फोन के ज़रिये इंटरनेट की इजी एक्सेस है बल्कि युवाओं में सोशल नेटवर्किंग साइट के प्रति बढ़ती दिलचस्पी को देखते हुए मोबाइल कंपनियों ने सस्ते हैंडसेट्स में भी यह सुविधाएं दे रखी हैं। सोशल मीडिया आज हम सब के जीवन का एक महत्वपूर्ण अंग बन गईं हैं। इंटरनेट यूजर्स का सबसे बड़ा हिस्सा 15 साल से लेकर 24 साल तक के युवा वर्ग का है। आज एक क्लिक करने भर से हम किस किसी भी वीडियो, फोटो, गाने या किसी डॉक्यूमेंट के साथ-साथ किसी भी इन्फोर्मेशन तक पहुंच सकते हैं।

वहीं, सोशल मीडिया में लोकप्रियता पर पहला स्थान फेसबुक का है। भारत में इस समय 8.2 करोड़ लोग फेसबुक पर एक्टिव हैं। एक ओर जहां यह दोस्तों के बीच अपनी बात रखने और मनोरंजन का ज़रिया बना है तो दूसरी ओर, स्टूडेंट्स के लिए पढ़ाई में भी भरपूर मदद करता है। फेसबुक पर ऐसे तमाम पेज मौजूद हैं जो किसी सबजेक्ट को लेकर तैयार किये गए हैं, उदाहरण के तौर पर, लाइफ साइंस, वाइल्ड लाइफ, जनरल नॉलेज, यूपीएससी प्रिपेरेशन, आईएएस अकेडेमी आदि। इन पेजों पर इन सब्जेक्ट्स पर चर्चाएं, सवाल-जवाब, प्रतियोगिताओं, जानकारियां या अन्य बातों की सूचना मिलती हैं। इसके अलावा फेसबुक पर कई अख़बारों, चैनलों और वेबसाइट्स के पेज हैं जिनसे करेंट अफेयर्स की जानकारियां मिलती हैं। यह किसी भी स्टूडेंट के लिए जानना जरूरी है कि हमारे आस- पास या देश-विदेश में चल क्या रहा है। वहीं, यू-ट्यूब पर भी नई टैक्नोलॉजी और प्रैक्टिकल्स की वीडियो भी देखी जा सकती है।

लेकिन यहां यह जानना बहुत जरूरी है कि जिस तरह सोशल मीडिया के यूजर्स की संख्या दिनों-दिन बढ़ती जा रही है उसी रफ्तार से इसके खतरों में भी बढ़ोत्तरी होती दिख रही है। सोशल मीडिया के अंधाधुंध इस्तेमाल से अनदेखी में बच्चे या युवा ऐसे काम कर बैठते हैं जो उन्हे मुसीबत में डाल देते हैं जिसके बारे में उन्हें कोई जानकारी नहीं होती। सोशल साइट्स पर पोर्न से जुड़ी फोटो और वीडियो भी उतनी ही संख्या में उपलब्ध है जितना कि कोई सामान्य कंटेंट। अपने आप में यह एक चौंकाने वाला तथ्य है कि 11 साल की उम्र तक आने तक बच्चे इंटरनेट पर किसी न किसी रूप में पोर्न से वाकिफ़ हो चुके होते हैं।

सोशल साइट्स पर आज ऐसे बहुत से खतरे मुंह बाए खड़े हैं जो बच्चों को अपने जाल में फंसाकर उनका शोषण करना शुरू कर देते हैं, जिन्हें ‘साइबर क्राइम‘ कहा जाता है। इंटरनेट के सभी यूज़र्स के लिए यह ध्यान रखने वाली बात है कि सोशल साइट्स पर बने दोस्तों को कभी अपनी निजी जानकारी साझा न करें।

हाल ही में, मुंबई में एक ऐसा ही केस समाने आया जिसमें अफगानिस्तान के कुछ लोगों ने एक युवक को पहले दोस्त बनाया और उसके बाद उसकी एक दोस्त ने अपनी मदद करने के लिए उसे बुला लिया। उनके बताए रास्ते पर वह चला तो गया लेकिन दो महिने बाद भी वह लापता है।

यह कोई एक अकेला ऐसा उदाहरण नहीं है जिससे किसी को हानि पहुंची हो बल्कि आए दिन ऐसे वाक्ये सुनने में आ रहे हैं। खैर, हम भी इसके लिए जिम्मेदार हैं। जबकि किसी भी चीज की अति हो जाती है तो वह अपने हर तरह के परिणामों को परोसना शुरू कर देती है। वही स्थिति यहां भी है। आज पढ़ने वालों बच्चों में यह आम समस्या बन चुकी है कि वे पढ़ाई पर ध्यान नहीं दे पाते क्योंकि उनका ज्यादा समय सोशल साइट्स पर बीतता है, देर से उठते हैं क्योंकि वे अपनी नींद का समय भी कम्प्यूटर या मोबाइल के सामने भेंट चढ़ा देते हैं। एक सर्वे में यह बात सामने आई है कि इन दिनों अधिकतर युवाओं में ‘कम्प्यूटर एडिक्शन‘ को देखा जा रहा है जिससे उनमें मोटापा और आलस्य पैदा होता है और इस लत का सीधा असर उनकी पढ़ाई और सामाजिक व्यवहार पर दिखाई देता है। ऐसे बच्चों को कम बोलना और अकेले रहने में ज्यादा सुकून मिलता है। जो उनके वर्तमान और भावी जीवन के लिए ख़तरा पैदा कर रहा है।

जब बच्चों और युवाओं का जीवन इस तरह प्रभावित होता दिखाई देने लगे तो यह कोई सामन्य बात नहीं है। ऐसी स्थिति को काबू करने के लिए पेरेंट्स को उन पर नज़र रखनी चाहिए। कम्प्यूटर को कॉमन प्लेस पर रखना चाहिए ताकि वह अपने कमरे में न घुसा रहे। इसके साथ ही, उनके इंटरनेट के इस्तेमाल करने के समय को निशिचित करना चाहिए। इससे हम सभी को एक सुरक्षित, नैतिक और संतुलित जीवन मिल सकेगा।

Answered by huzaifaabedeen93
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आज का युवा वर्ग अपने हाथ में स्मार्ट फोन लिए सारी दुनिया से जुड़ा हुआ है फिर चाहे वह फेसबुक, ट्विटर, यू-ट्यूब, ब्लॉग या ऑरकुट के ही रूप में ही क्यों न हो। सोशल मीडिया पर समय बिता रहे इन युवाओं ने एक जुट होकर एक नया समाज बना लिया है। ... भारत में इस समय 8.2 करोड़ लोग फेसबुक पर एक्टिव हैं।

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