गंगा को स्वच्छ करने के लिए भारत सरकार द्वारा क्या प्रयास किये गए हैं?ये लक्ष्य कब पूरा
Answers
Answered by
0
स्वच्छ गंगा परियोजना का आधिकारिक नाम एकीकृत गंगा संरक्षण मिशन परियोजना या ‘नमामि गंगे’ है। यह मूल रुप से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ड्रीम मिशन है। प्रधानमंत्री बनने से पहले ही मोदी ने गंगा की सफाई को बहुत समर्थन दिया था। उन्होंने वादा किया था कि वह यदि सत्ता में आए तो वो जल्द से जल्द यह परियोजना शुरु करेंगें।
अपने वादे के अनुसार उन्होंने प्रधानमंत्री बनते ही कुछ महीनों में यह परियोजना शुरु कर दी। इस परियोजना ने उन्हें लाभ भी देना शुरु कर दिया। इसका सबूत उनकी अमेरिका यात्रा में देखने को मिला जहां उन्हें क्लिंटन परिवार ने यह परियोजना शुरु करने पर बधाई दी। यह परियोजना तब खबरों में आई जब आरएसएस ने इसकी निगरानी करने का निर्णय लिया और साथ ही विभिन्न कर लाभ निवेश योजनाओं की घोषणा सरकार ने की।
स्वच्छ गंगा परियोजना क्यों शुरु की गई?
जब केंद्रीय बजट 2014-15 में 2,037 करोड़ रुपयों की आरंभिक राशि के साथ नमामि गंगे नाम की एकीकृत गंगा संरक्षण मिशन परियोजना शुरु की गई तब केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा था कि अब तक इस नदी की सफाई और संरक्षण पर बहुत बड़ी राशि खर्च की गई है लेकिन गंगा नदी की हालत में कोई अंतर नहीं आया। इस परियोजना को शुरु करने का यह आधिकारिक कारण है। इसके अलावा कई सालों से अनुपचारित सीवेज और औद्योगिक अपशिष्ट को भारी मात्रा में नदी में छोड़े जाने के कारण नदी की खराब हालत को भी ध्यान में रखने की आवश्यकता है।
अपने वादे के अनुसार उन्होंने प्रधानमंत्री बनते ही कुछ महीनों में यह परियोजना शुरु कर दी। इस परियोजना ने उन्हें लाभ भी देना शुरु कर दिया। इसका सबूत उनकी अमेरिका यात्रा में देखने को मिला जहां उन्हें क्लिंटन परिवार ने यह परियोजना शुरु करने पर बधाई दी। यह परियोजना तब खबरों में आई जब आरएसएस ने इसकी निगरानी करने का निर्णय लिया और साथ ही विभिन्न कर लाभ निवेश योजनाओं की घोषणा सरकार ने की।
स्वच्छ गंगा परियोजना क्यों शुरु की गई?
जब केंद्रीय बजट 2014-15 में 2,037 करोड़ रुपयों की आरंभिक राशि के साथ नमामि गंगे नाम की एकीकृत गंगा संरक्षण मिशन परियोजना शुरु की गई तब केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा था कि अब तक इस नदी की सफाई और संरक्षण पर बहुत बड़ी राशि खर्च की गई है लेकिन गंगा नदी की हालत में कोई अंतर नहीं आया। इस परियोजना को शुरु करने का यह आधिकारिक कारण है। इसके अलावा कई सालों से अनुपचारित सीवेज और औद्योगिक अपशिष्ट को भारी मात्रा में नदी में छोड़े जाने के कारण नदी की खराब हालत को भी ध्यान में रखने की आवश्यकता है।
Similar questions