गुण विद्वान और गुणी व्यक्तियों के पास गुण के ही रूप में सुरक्षित रहते है परन्तु वे ही गुण
गुणहीन और नीच व्यक्तियों के संसर्ग से दूषित हो कर दोषों में परिणित हो जाते हैं | उदाहरणार्थ नदियों में अच्छे स्वाद वाला पीने योग्य जल प्रवाहित होता है परन्तु वही जल समुद्र के जल से मिल कर अशुद्ध हो कर खारा हो जाता है और पीने के योग्य नहीं रहता है |
Answers
Answered by
0
Answer:
hey mate what's your question.
what do u want to ask plz.... complete your question.
Similar questions