Hindi, asked by kumartuntun0223, 9 months ago

गाँधी जी ने नौजवान को क्या समझाया?​

Answers

Answered by priyanshu080210
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मनुष्य से प्रेम और सेवा बहुत अच्छी बात है पर मनुष्य ईश्वर का स्थान ले ले सकता ईश्वर के बारे में अलग-अलग समूह में अलग-अलग तरह की कल्पनाएं करते हैं और उनमें हद पुराण आता है असल आप ईश्वर का नाम लेते हैं पर अपने जीवन में उसकी सजीव प्रकृति मनुष्य के साथ सही व्यवहार नहीं करती हर मनुष्य में ईश्वर है या मानना ही ईश्वर पर सच्चा विश्वास रखना है प्रेम या हिंसा में ही भगवान है

Answered by Anonymous
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गाँधीजी ने नास्तिक नौजवान को समझाया कि भगवान को लेकर अलग-अलग मान्यताएँ हैं पर सच तो यह है कि हर मनुष्य में ईश्वर हैं और हर मनुष्य के प्रति अहिंसक और प्रेम भावना से रहने से ही ईश्वर की प्राप्ति संभव है ।

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