Guru purnima ka mahatwa likhiye
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This festival is traditionally observed by Hindus, Buddhist and Jains to revere their chosen spiritual teacher's/ leaders and express their gratitude.
sidra1784:
okay wht was that?
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Guru Purnima 2018: आज आषाढ़ मास का पूर्णिमा है. इस दिन गुरु पूर्णिमा मनाने का विधान है. हमारे समाज में गुरु का स्थान हमेशा ही सर्वोच्च रहा है, उन्हें ईश्वर के समान माना गया है. गुरु को ब्रह्मा, विष्णु और महेश का रूप माना जाता है. आषाढ़ पूर्णिमा या गुरु पूर्णिमा के दिन गुरु की पूजा की जाती है और उन्हें सम्मान दिया जाता है.
ऋषि पराशारा और सत्यवती के पुत्र और महाभारत, वेद, उपनिषद और पुराणों के रचयिता महर्षि वेद व्यास का जन्म आज ही के दिन हुआ था. इसलिए यह दिन उन्हें समर्पित है. वेद व्यास को समस्त मानव जाति का गुरु माना जाता है.
आषाढ़ पूर्णिमा के दिन ही क्यों मनाते हैं यह पर्व
महर्षि वेद व्यास का जन्म आषाढ़ पूर्णिमा के दिन ही हुआ है. आज से करीब 3000 ई. पूर्व जन्म लेने वाले महर्षि वेद व्यास ने वेदों, उपनिषदों और पुराणों की रचना की. इसलिए उन्हें समस्त मानव जाति का गुरु माना जाता है. इस दिन वेद व्यास जी की पूजा की जाती है और जिसे भी अपना गुरु मानते हैं उनकी पूजा करते हैं. आषाढ़ पूर्णिमा होने के कारण आज के दिन लोग व्रत भी रखते हैं.
ऋषि पराशारा और सत्यवती के पुत्र और महाभारत, वेद, उपनिषद और पुराणों के रचयिता महर्षि वेद व्यास का जन्म आज ही के दिन हुआ था. इसलिए यह दिन उन्हें समर्पित है. वेद व्यास को समस्त मानव जाति का गुरु माना जाता है.
आषाढ़ पूर्णिमा के दिन ही क्यों मनाते हैं यह पर्व
महर्षि वेद व्यास का जन्म आषाढ़ पूर्णिमा के दिन ही हुआ है. आज से करीब 3000 ई. पूर्व जन्म लेने वाले महर्षि वेद व्यास ने वेदों, उपनिषदों और पुराणों की रचना की. इसलिए उन्हें समस्त मानव जाति का गुरु माना जाता है. इस दिन वेद व्यास जी की पूजा की जाती है और जिसे भी अपना गुरु मानते हैं उनकी पूजा करते हैं. आषाढ़ पूर्णिमा होने के कारण आज के दिन लोग व्रत भी रखते हैं.
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