Hindi, asked by umayadaw214, 4 months ago

हिन्दी की समायोजन शक्ति से लेखक का क्या अभिप्राय है?​

Answers

Answered by adyav291105
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Answer:

हिंदी की समायोजन शक्ति से लेखक का अभिप्राय गैर-हिंदी भाषाओं की कई विशेषताओं को अपने अंदर समाहित कर लेने से है अर्थात् हिंदी भाषा द्वारा अरबी, फारसी, तुर्की, अंग्रेज़ी जैसी अनेक बाहरी भाषाओं एवं संस्कृतियों के शब्दों को आत्मसात् कर लेने व स्वयं में घुला-मिला लेने की क्षमता से है।

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