Social Sciences, asked by tarunsharma8544, 4 months ago

Ham Apne loktantra Ko kis Prakar majbut kar sakte hain​

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Answered by nehaprakruti44
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Answer:

शक्ति का विभाजन लोकतांत्रिक व्यवस्था का आधार है. विभिन्न संवैधानिक संस्थाएं लोकतंत्र को मजबूती देने वाले चार पाए की तरह है. हर किसी की अपनी जिम्मेदारी है, लेकिन कोई भी दूसरे को कमजोर कर अकेला बोझ नहीं उठा सकता. इसलिए एक दूसरे को मजबूत करना कार्यपालिका, विधायिका और न्यायपालिका तीनों की ही जिम्मेदारी है. जटिल होते विश्व में मीडिया लोकतंत्र का चौथा पाया बनकर उभरा है. उसकी अब तक संवैधानिक भूमिका नहीं है, इसलिए उसे जिम्मेदार और मजबूत बनाना और ज्यादा जरूरी है.

भारत पर नजर रखने वाला कोई भी प्रेक्षक बिना ज्यादा सोचे समझे कह सकता है कि वहां संस्थाओं के बीच होड़ सी चल रही है. सभी अपना हक और दावा साबित करने में लगे हैं, और इस प्रक्रिया में खुद अपने को और दूसरे संस्थानों को कमजोर कर रहे हैं. दिल्ली और केंद्र का झगड़ा हो, मुख्यमंत्री के निजी सचिव के दफ्तर पर छापामारी हो, लालू यादव के खिलाफ मुकदमे वापस लेना हो या सर्वोच्च अदालतों के जज की नियुक्ति की प्रक्रिया हो, एक के बाद एक मामले गिनाए जा सकते हैं जिनमें दूसरी संवैधानिक संस्थाओं के प्रति सम्मान का अभाव दिखता है, यहां तक कि संदेह भी झलकता है.

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