Hindi, asked by shikhaaaaaa, 2 months ago

हम सबने ठाना है कोरोना को हराना है। पर कविता लिखिए



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Answered by Amitlombya
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Answer:

रिजर्व बैंक और भी कुछ कम हो गया और भी कुछ नहीं है लेकिन इस बार भी नहीं है लेकिन यह भी कई बार फिर दिल पर बरसा रहे थे और वो/

Answered by sandipthete3
2

Answer:

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Explanation:

हर तरफ दहशत है आसमान चुप है

सड़कें सुनसान हैं दुकानें संपूर्ण बंद

इंसान जिंदा तड़पता दिख रहा है

पंछी उन्मुक्त कोलाहल कर रहे हैं

यूं लग रहा है पूरी कायनात

मानव जीवन की हसीं उड़ा रहे हैं

जानवर बेपरवाह और इंसान बेबस है

यह सन्नाटा द्रुत गति का विराम है

भाग रहे थे सब बिना लक्ष्य के

करोना आया तब हम समझे

सुख और वैभव बाहर नहीं है

परिवार और घर ही जीवन है

यही सब हम पहले क्यूं न समझे??

हजारों लोगों की मौत के बाद क्यूं संभले!

शर्म आती है इंसानियत पे

जिसने धरती मां को रुलाया

इसकी छाती पर चढ़ इसकी सांसे रोकी

अपनी मनमानी कर आज इस विभिषिका पर पहुंचे

मैं रो रही हूं मैं रो रही हूं

आखिर हमने भी अपनी बगिया

इसी धरती पर लगाई है

अब सब समझ गए ऐसा प्रतीत हो रहा है

बसंत आएगा ऐसा हृदय कह रहा है

चलो सब मिलकर प्रण लेते हैं

घर ही जीवन है घर ही जीवन है

हम सबने ठाना है कोरोना को हराना है।

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