Chemistry, asked by rohitkhu5785, 1 month ago

(heb/qync/ysp) (come for study ch matter class 10th explane in hindi)​

Answers

Answered by Azraaq3108
0

Answer:

Anunasik के स्थान पर अनुस्वार (बिंदु) का प्रयोग

अनुनासिक के प्रयोग में आपने देखा कि हमने बताया अनुनासिक स्वरों का गुण होता है और अ, आ, उ, ऊ, तथा ऋ स्वर वाले शब्दों में अनुनासिक लगता है। यहाँ आपके मन में संदेह उत्पन्न हो सकता है कि स्वरों में तो इ, ई, ए, ऐ, ओ और औ भी आते हैं तो अनुनासिक इन स्वरों वाले शब्दों में क्यों प्रयुक्त नहीं होता।

इसका एक कारण है और वह यह है कि जिन स्वरों में शिरोरेखा (शब्द के ऊपर खींची जाने वाली लाइन) के ऊपर मात्रा-चिह्न आते हैं, वहाँ अनुनासिक के लिए जगह की कमी के कारण अनुस्वार (बिंदु) लगाया जाता है।

Sarvanam in Hindi

Anunasik aur Anuswar :इस नियम को उदाहरणों के माध्यम से समझेंगे

नहीँ – नहीं

मैँ – मैं

गोँद – गोंद

अनुस्वार

Source – Learn CBSE

इन सभी शब्दों में जैसा कि हम देख रहे हैं कि शिरोरेखा से ऊपर मात्रा-चिह्न लगे हुए हैं – जैसे ‘नहीं’में ई, ‘मैं’में ऐ तथा ‘गोंद’में ओ की मात्रा का चिह्न है।

इन शब्दों पर जब हम अनुनासिक (ँ) का चिह्न लगा रहे हैं, तो पाते हैं कि उसके लिए पर्याप्त स्थान नहीं है, इसीलिए इन सभी मात्राओं (इ, ई, ए, ऐ, ओ और औ) के साथ अनुनासिक (ँ) के स्थान पर अनुस्वार (ं) लगाया गया है।

यहाँ ध्यान रखने योग्य बात यह है कि अनुनासिक (ँ) के स्थान पर अनुस्वार (ं) का प्रयोग करने पर भी इन शब्दों के उच्चारण में किसी प्रकार का अंतर नहीं आता।

Step-by-step explanation:

Saloni ji, aaj kal bahut kam on aate ho aap

and sry, aapko birthday wish noii kr saka, yahan question bhare hue the and pin pe apki profile pr msg wala option noii tha

anyways, a very hapy belated eppie birtday aapko...xD

Explanation:

Similar questions