Science, asked by ramveer8349, 1 month ago

i) वह अंग जिसकी आंतरिक भित्ति में दीर्घ रोम पाए जाते है।​

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Answered by aqeelahmed6281310
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Answer:

Explanation:जैव प्रक्रम पचे हुए भोजन को अवशोषित करने के लिए क्षुद्रांत्र को कैसे अभिकल्पित किया गया है? क्षुद्रांत्र पाचित भोजन को अवशोषित करने का मुख स्थान है। क्षुद्रांत्र की आंतरिक भित्ति/अस्तर अंगुली जैसी संरचनाओं/प्रवर्ध में विकसित होते हैं जिन्हें दीर्घ रोम कहते हैं।

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